Last Updated: Monday, September 24, 2012, 19:14

नई दिल्ली : संचार एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री कपिल सिब्बल ने सोमवार को कहा कि सरकार इंटरनेट पर नियंत्रण के खिलाफ है लेकिन वह चाहती है कि भविष्य में सामने आने वाले मुद्दों को लेकर भागीदारों में आम सहमति हो।
सिब्बल ने कहा, संभवत: लोकतंत्र का सबसे अच्छे ढंग से प्रतिनिधित्व करने वाले किसी माध्यम के जरिए सूचनाओं के प्रसार में कोई औपचारिक सरकारी हस्तक्षेप नहीं होना चाहिए। हम तो सहमति चाहते हैं न कि कोई फैसला। सहमति जिसे बाद में औपचारिक रूप देकर भविष्य में उठने वाले मुद्दों से निपटा जा सके।
मंत्री ने कहा कि इंटरनेट के कुछ पहलुओं को अभिव्यक्ति की आजादी से पूरी तरह संरक्षण मिला हुआ है लेकिन कुछ पहलू शायद मुक्त अभिव्यक्ति से संरक्षित नहीं हों।
उन्होंने कहा कि समय के साथ व्यवस्था संचालन की प्रकृति, आजादी की परिभाषा के हिसाब से ही बदल रही है।
सिब्बल यहां ‘इंडिया इंटरनेट गवर्नेंस’ सम्मेलन को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने इस सम्मेलन के शीषर्क पर भी आपत्ति जताई। उन्होंने कहा, मुझे यह शब्द गवर्नेंस पसंद नहीं है। आप यहां ‘इंडिया इंटरनेट गवर्नेंस’ सम्मेलन की तैयारी के सिलसिले में इसका आयोजन कर रहे है। मुझे लगता है कि हम गलत कदम से शुरआत कर रहे हैं।
उन्होंने कहा कि जैसे-जैसे भारत अपने लोकतंत्र को और मजबूत करेगा, देश इंटरनेट को अंगीकार करेगा। मंत्री ने कहा कि ना तो वह न ही उनकी सरकार इंटरनेट के लिए गवर्नेंस ढाचा या नियंत्रण चाहेगी। (एजेंसी)
First Published: Monday, September 24, 2012, 19:14