Last Updated: Friday, October 14, 2011, 07:16
जी न्यूज ब्यूरोरालेगण सिद्धी: जानेमाने वकील प्रशांत भूषण के बयान से अन्ना हजारे ने किनारा कर लिया है। वरिष्ठ गांधीवादी और समाजसेवी अन्ना हजारे ने शुक्रवार को कहा कि जम्मू-कश्मीर पर दिया गया वक्तव्य प्रशांत भूषण की निजी राय है और इससे टीम अन्ना न तो इस वक्तव्य से सहमत है और न ही इससे कोई लेना-देना है।
शुक्रवार को रालेगण सिद्धी में अन्ना हजारे ने संवाददाताओं से बातचीत में कहा कि कश्मीर भारत का अभिन्न अंग है और हमेशा रहेगा। उन्होंने कश्मीर में जनमत संग्रह की बात को बेतुका करार दिया। उन्होंने यह भी कहा कि प्रशांत भूषण ने इस मसले पर टीम अन्ना के सहयोगियों से कभी बातचीत नहीं की। यह उनकी निजी राय है।
उन्होंने कहा कि इस मसले पर वह प्रशांत भूषण से बातचीत करेंगे। अन्ना हजारे ने कहा कि प्रशांत भूषण टीम में रहेंगे या नहीं अब इस पर विचार होगा। हालांकि बाद में अन्ना हजारे ने प्रशांत भूषण के संबंध में उनके बयान को तोड़-मरोड़ कर पेश करने का आरोप लगाते हुए कहा कि वरिष्ठ अधिवक्ता उनकी टीम का अभिन्न हिस्सा हैं, हालांकि कश्मीर पर उनके कथन से वह सहमत नहीं हैं।
अन्ना हजारे ने अपने ब्लॉग में सफाई दी, ‘मीडिया के कुछ हिस्से में कश्मीर मुद्दे पर प्रशांत भूषण की राय को लेकर दिए गए मेरे बयान को तोड़-मरोड़ पेश किया गया है।’’ हजारे ने कहा, ‘मैं स्पष्ट करना चाहूंगा कि जब प्रशांत भूषण ने यह कहा कि कश्मीर मुद्दे पर जनमत संग्रह जरूरी है तो यह उनकी निजी राय थी और व्यक्तिगत रूप से मेरा और मेरी टीम का इससे कुछ भी लेना देना नहीं है।’
उन्होंने कहा है कि टीम अन्ना जनलोकपाल बिल या फिर भ्रष्टाचार के बारे में बात करती है और इसके अलावा कोई बात नहीं करती है। प्रशांत भूषण ने अपने दिए गये बयान में कहा था कि कश्मीर मसले पर जनमत संग्रह कराया जाना चाहिए तभी इस मसले का समाधान हो सकता है। उन्होंने कहा था कि जम्मू-कश्मीर में सेना के विशेषाधिकार कानून को समाप्त कर देना चाहिए। उनके इस बयान की काफी आलोचना हुई थी।
First Published: Saturday, October 15, 2011, 10:46