Last Updated: Thursday, January 26, 2012, 15:03
नई दिल्ली : कानून बनाने में जनभागीदारी सुनिश्चित करने के लिए संविधान में संशोधन की वकालत करते हुए टीम अन्ना ने चुनाव आयोग की तर्ज पर जनमत आयोग बनाने का गुरुवार को सुझाव दिया ताकि कानून बनाने के दौरान आम आदमी की राय ली जा सके।
टीम अन्ना के सदस्य प्रशांत भूषण ने गुरुवार को यहां एक संगोष्ठी में कहा कि उपलब्ध प्रौद्योगिकी एवं इंटरनेट जनमत सर्वेक्षण के माध्यम के रूप में उपयोग में लाया जा सकता है। उन्होंने कहा कि किसी खास राज्य के कानून के लिए इंटरनेट कियोस्क के माध्यम से मतदाता की राय ली जा सकती है और उससे पहले मतदाता की बायोमैट्रिक प्रणाली के माध्यम से पहचान की जा सकती है।
उन्होंने कहा, यदि यह राष्ट्रीय स्तर पर हो तब मतदान उस स्तर पर होना चाहिए यानी आपको लोगों से पूछना होगा। सवाल यह है कि क्या लोग उक्त कानून चाहते भी हैं या नहीं। भूषण ने दावा कि ऐसा जनमत सर्वेक्षण कराना कठिन नहीं होगा।
उन्होंने कहा, हमें चुनाव आयोग की तर्ज पर जनमत सर्वेक्षण आयोग की जरूरत है। यदि पांच फीसदी लोग आयोग के पास जाकर किसी कानून की मांग करते हैं तब जनमत सर्वेक्षण होना चाहिए। इस प्रस्ताव की आलोचना की हवा निकालते हुए उन्होंने कहा कि कुछ लोग यह चिंता उठायेंगे कि यह अल्पसंख्यकों के खिलाफ जाएगा लेकिन ऐसा नहीं होगा। ऐसा कहा जाता है कि बहुसंख्यक अल्पसंख्यकों के खिलाफ कुछ कानून लाने का प्रयास करेंगे। ऐसा नहीं हो सकता है क्योंकि हमारा संविधान कुछ अधिकारों की गारंटी प्रदान करता है। (एजेंसी)
First Published: Thursday, January 26, 2012, 20:35