खेल अभी बाकी है, इंतजार करें: ममता बनर्जी

खेल अभी बाकी है, थोड़ा इंतजार करें: ममता बनर्जी

खेल अभी बाकी है, थोड़ा इंतजार करें: ममता बनर्जी  ज़ी न्‍यूज ब्‍यूरो/एजेंसी

कोलकाता/नई दिल्ली : राष्ट्रपति पद के लिए यूपीए की ओर से प्रणब मुखर्जी की उम्मीदवारी की घोषणा के बाद तृणमूल कांग्रेस की अध्यक्ष ममता बनर्जी ने कहा है कि खेल अभी बाकी है, अभी थोड़ा इंतजार करें। उन्होंने कहा कि मैं प्रणब की उम्मीदवारी पर कुछ नहीं बोलना चाहती हूं।

प्रणब को अपना राष्ट्रपति पद का उम्मीदवार घोषित किए जाने के कुछ ही देर बाद तृणमूल कांग्रेस प्रमुख ने कहा कि उनकी पार्टी एपीजे अब्दुल कलाम की उम्मीदवारी पर कायम है। संप्रग की ओर से मुखर्जी को अपना उम्मीदवार घोषित किए जाने के फैसले से अविचलित ममता ने राज्य सचिवालय में कहा कि हम कलाम की उम्मीदवारी पर कायम हैं। वह सबसे उपयुक्त उम्मीदवार हैं। हम उस रुख से नहीं पलट रहे हैं, जिसकी घोषणा हमने पहले की थी। सपा अध्य।क्ष मुलायम सिंह यादव के पीछे हटने के सवाल पर उन्होंने कहा कि मुलायम ने मुझे धोखा नहीं दिया है।

वहीं, संप्रग के उम्मीदवार का विरोध करने की तृणमूल कांग्रेस की रणनीति ने उसके कांग्रेस नीत गठबंधन में बने रहने पर प्रश्नचिह्न खड़ा कर दिया है। तृणमूल कांग्रेस का संप्रग में बने रहना उसके इस अड़ियल रुख के चलते अधर में लटक गया है कि एपीजे अब्दुल कलाम ही राष्ट्रपति पद के लिए पार्टी के उम्मीदवार होंगे जबकि संप्रग ने प्रणव मुखर्जी को अपना उम्मीदवार चुना है।

तृणमूल कांग्रेस प्रमुख ममता बनर्जी ने कल कहा कि वह स्वयं संप्रग नहीं छोड़ेंगी और इसका निर्णय कांग्रेस को करना है। प्रेक्षकों का मानना है कि यदि उन्होंने मुखर्जी का विरोध जारी रखा तो उनकी पार्टी का गठबंधन में बने रहना मुश्किल हो जाएगा। इसके बावजूद ऐसा लगता है कि कांग्रेस बातचीत के जरिये समाधान निकालने की पक्षधर है क्योंकि पार्टी के पश्चिम बंगाल मामलों के प्रभारी शकील अहमद ने कहा है कि कोई भी निर्णय जल्दबाजी में नहीं लिया जाएगा। उन्होंने यह बात तब कहीं जब उनका ध्यान प्रदेश इकाई की ओर से की गई उस मांग की ओर दिलाया गया कि ममता के साथ संबंध समाप्त कर लिये जाने चाहिए।

अहमद को अभी भी इस बात की आशा है कि ममता राज्य के मुख्यमंत्री के रूप में मुखर्जी को समर्थन का नेतृत्व करेंगी जो कि राज्य में पार्टी के पुरोधा हैं। ममता की पार्टी संप्रग के लिए सबसे अधिक मुश्किलें खड़ी करने वाला सहयोगी दल रहा है।
वहीं, प्रणब मुखर्जी ने शुक्रवार को मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को अपनी छोटी बहन बताते हुए उनसे समर्थन मांगा। यह पूछे जाने पर क्या वह ममता बनर्जी से भी समर्थन मांगेंगे, उन्होंने कहा कि मैं उनसे भी समर्थन मांगूगा, वह मेरी छोटी बहन जैसी है। उन्होंने कहा कि उनके बाद वित्त मंत्री की जिम्मेदारी कौन सम्भालेगा, यह प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह तय करेंगे।

उधर, कांग्रेस ने आज उम्मीद जताई कि ममता बनर्जी की तृणमूल कांग्रेस भी प्रणब के नाम पर समर्थन दे देंगी। कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी द्वारा प्रणव मुखर्जी को राष्ट्रपति पद के लिए संप्रग उम्मीदवार बनाये जाने का ऐलान करने के साथ ही पार्टी ने आज अन्य राजनीतिक दलों से इस बारे में आम सहमति की अपील की और ममता से भी समर्थन की उम्मीद जताई। कांग्रेस महासचिव जनार्दन द्विवेदी ने मुखर्जी के नाम की घोषणा के कुछ ही देर बाद संवाददाताओं से कहा कि ममता अब भी हमारी सहयोगी हैं, अभी अच्छा नतीजा निकलने की संभावनाएं बरकरार हैं।

कांग्रेस नेता से जब पूछा गया कि अगर ममता मुखर्जी की दावेदारी का विरोध नहीं करती तो क्या ज्यादा बेहतर नहीं होता, उन्होंने कहा कि निश्चित रूप से यह बेहतर होता। क्या कांग्रेस भाजपा नीत राजग से भी मुखर्जी को सहयोग देने की अपील करेगी, इस सवाल पर द्विवेदी ने कहा कि कांग्रेस ने जिन राजनीतिक दलों से समर्थन का अनुरोध किया है उनमें राजग के घटक दल भी हैं। मुखर्जी का चुनाव निर्विरोध हो जाने की संभावना के सवाल पर उन्होंने कहा कि वह देश के राष्ट्रपति बनने की सभी योग्यताएं और क्षमताएं रखते हैं, इसलिए उन्हें आम सहमति से चुनने की अपील पार्टी ने की है।

First Published: Friday, June 15, 2012, 22:49

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