Last Updated: Monday, July 8, 2013, 00:34
ज़ी मीडिया ब्यूरो/एजेंसीगया (बिहार) : इंडियन मुजाहिदीन के संदिग्ध आतंकवादियों ने एक समन्वित आतंकवादी हमले में बौद्धों के विश्व प्रसिद्ध तीर्थस्थल बोध गया और महाबोधि मंदिर परिसर को आज सुबह 30 मिनट में कम तीव्रता वाले नौ सिलसिलेवार धमाकों से निशाना बनाया। हालांकि, विस्फोटों में महाबोधि मंदिर और बोधि वृक्ष को कोई क्षति नहीं हुई है। इन धमाकों में दो बौद्ध भिक्षु घायल हुए हैं।
महाबोधि मंदिर बौद्धों के पवित्रतम मंदिरों में से एक है। इसी वृक्ष के नीचे भगवान बुद्ध को ज्ञान की प्राप्ति हुई थी। इस मंदिर का दर्शन करने के लिए श्रीलंका, चीन, जापान और समूचे दक्षिण पूर्व एशिया से श्रद्धालु आते हैं। केंद्रीय गृह सचिव अनिल गोस्वामी ने नई दिल्ली में बताया कि बिहार में महाबोधि मंदिर के भीतर और बाहर हुआ सीरियल ब्लास्ट आतंकवादी हमला था और एनआईए और एनएसजी का दस्ता विस्फोट के बाद की जांच के लिए वहां पहुंच गया है।
शहर और यूनेस्को के विरासत स्थल का दर्जा पाए मंदिर को निशाना बनाने के लिए विस्फोट सुबह साढ़े पांच बजे से पांच बजकर 58 मिनट के बीच किए गए। यह शहर और मंदिर को निशाना बनाने के लिए अपनी तरह का पहला हमला था। टाइमर से विस्फोट को अंजाम दिया गया। दिल्ली पुलिस ने पिछले साल इंडियन मुजाहिदीन के संदिग्ध आतंकवादियों को गिरफ्तार कर शहर में ‘फिदायीं’ हमले को विफल करने का दावा किया था। ये लोग म्यांमा में मुस्लिमों के खिलाफ ‘अत्याचार’ का बदला लेना चाहते थे।
सुरक्षा एजेंसियों को संदेह है कि आज हुए सिलसिलेवार धमाकों के पीछे इंडियन मुजाहिदीन का हाथ हो सकता है। हालांकि, किसी भी समूह ने हमले की जिम्मेदारी नहीं ली है। केंद्र और राज्य सरकार ने इसे आतंकवादी हमला बताया है। इस क्षेत्र पर माओवादियों की मजबूत पकड़ है। मगध क्षेत्र के डीआईजी नैयर हसनैन खान ने बताया, ‘जहां चार विस्फोट महाबोधि मंदिर परिसर के भीतर हुए, वहीं तीन धमाके करमापा मठ में हुए। एक विस्फोट बुद्ध की 80 फुट उंची प्रतिमा के निकट हुआ जबकि एक अन्य विस्फोट बाईपास के निकट बस स्टैंड के पास हुआ।’
पटना से विस्फोट स्थल पर पहुंचे बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने मंदिर की सुरक्षा में केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (सीआईएसएफ) को तैनात करने की आज मांग की। उन्होंने कहा, ‘सिलसिलेवार धमाकों की कड़े से कड़े शब्दों में निंदा की जानी चाहिए क्योंकि अपराधियों ने करोड़ों लोगों की धार्मिक आस्था के स्थल को निशाना बनाया है, जिसका उद्देश्य लोगों में डर पैदा करना है।’
महाबोधि मंदिर प्रबंधन समिति के सदस्य अरविंद सिंह ने बताया कि घायल हुए दो बौद्ध भिक्षुओं में एक म्यांमा का और दूसरा तिब्बत का है। उन्हें मगध मेडिकल कॉलेज अस्पताल में भर्ती कराया गया है। सिंह ने बताया कि तीन बमों को निष्क्रिय कर दिया गया है। इनमें से एक बम बुद्ध की 80 फुट उंची प्रतिमा के निकट पाया गया जबकि दूसरा बस स्टैंड के निकट पाया गया। सिलेंडर में छिपाकर रखा गया एक और बम सिलसिलेवार धमाकों के कुछ घंटे बाद बोध गया के निकट एक गांव से बरामद किया गया। उसे भी निष्क्रिय कर दिया गया।
विस्फोट में इस्तेमाल किए गए विस्फोटकों की प्रकृति के बारे में पूछे जाने पर एडीजी (कानून एवं व्यवस्था) एस के भारद्वाज ने बताया कि ये कम तीव्रता के टाइम बम थे। पुलिस ने बताया, ‘हमें छह-सात महीने पहले सूचना मिली थी कि महाबोधि मंदिर पर आतंकवादी हमला हो सकता है। उसके बाद हमने सुरक्षा कड़ी कर दी थी और अतिरिक्त बलों को तैनात किया गया था।’ पुलिस ने बताया, ‘बोध गया मंदिर में पुलिस सुरक्षा व्यवस्था सिर्फ मंदिर के बाहर है जबकि मंदिर के भीतर सुरक्षा मंदिर ट्रस्ट के अधिकारी देखते हैं।’ खान ने बताया, ‘महाबोधि मंदिर का गर्भगृह सुरक्षित है। मंदिर परिसर की अच्छी तरह सफाई कर दी गई है।’
गृह मंत्रालय ने दिल्ली, मुंबई, कोलकाता, अहमदाबाद, चेन्नई, बेंगलूर, हैदराबाद और पुणे जैसे शहरों पर विशेष जोर देते हुए सभी राज्यों को भेजे अपने परामर्श में कहा कि बौद्ध मंदिरों, बौद्ध धर्मस्थलों और तिब्बती केंद्रों की पर्याप्त सुरक्षा व्यवस्था होनी चाहिए। केंद्रीय एजेंसियों के इस हमले के बारे में चेतावनी देने और राज्य सरकार को विशेष सूचना देने की खबरों के मद्देनजर भाजपा और अन्य पार्टियों ने केंद्र और बिहार सरकार पर आतंकवादी हमले को रोकने की दिशा में कदम उठाने में विफल रहने का आरोप लगाया।
First Published: Sunday, July 7, 2013, 08:19