Last Updated: Friday, December 21, 2012, 13:56

नई दिल्ली : पूर्व सेना प्रमुख जनरल वीके सिंह ने शुक्रवार को कहा कि एक चलती बस में छात्रा से सामूहिक दुष्कर्म की घटना ‘प्रशासन के पूरी तरह ध्वस्त’ होने का परिचायक है । इसके साथ ही उन्होंने पुलिस पर आरोप लगाया कि पुलिस बल राजधानी में अति विशिष्ट लोगों की ‘सुरक्षा एजेंसी से से अधिक कुछ नहीं’ है।
सिंह ने कहा कि व्यवस्था ‘पूरी तरह बेनकाब’ हो चुकी है क्योंकि न केवल उस बस में सवार एक बेटी इस व्यवस्था के रहम पर थी बल्कि सैंकड़ों अन्य बेटियों पर भी हमलावरों की ओर से इस प्रकार का खतरा मंडरा रहा है क्योंकि व्यवस्था कोई भी कार्रवाई नहीं कर पा रही है और यह ‘नपुंसकता बढ़ रही है।’ उन्होंने कहा कि बेधड़क शहर में घूमती एक बस में 23 वर्षीय छात्रा के साथ जघन्य सामहिक बलात्कार और नृशंस हमला इस बात का संकेत है कि प्रशासन पूरी तरह ध्वस्त हो चुका है।
यह घटना तो पूरी व्यवस्था को झकझोरने वाली होनी चाहिए। सिंह ने एक बयान में कहा कि मैं इस बहादुर लड़की के जिंदा रहने की प्रार्थना करता हूं और मेरी संवेदनाएं उसके परिवार के साथ हैं। हम इसे जेसिका लाल मामले की तरह नहीं छोड़ सकते। उस मामले में यदि उसके परिवार का प्रयास नहीं रहता तो उसके हत्यारे फिर से खुलेआम घूमते। व्यवस्था को सबसे बड़ी चेतावनी मिल चुकी है। हमें जागना होगा, इससे पहले कि बहुत देर हो जाए।
उन्होंने इस बात पर जोर देकर कहा कि सुरक्षा मुहैया कराना हर सरकार की हलफिया ड्यूटी है , खासतौर से पुलिस और न्यायपालिका की। उन्होंने कहा लेकिन इसके बजाय ‘हम ऐसी स्थिति में हैं जहां लगभग हर रोज प्रशासन के हर संस्थान का क्षरण हो रहा है। (एजेंसी)
First Published: Friday, December 21, 2012, 13:56