दिल्ली में अपराध बढ़े, बलात्कार के मामलों में 23.43% का इजाफा, Delhi crime on rise for 4th year, rape cases up by 23%

दिल्ली में अपराध बढ़े, बलात्कार के मामलों में 23.43% का इजाफा

दिल्ली में अपराध बढ़े, बलात्कार के मामलों में 23.43% का इजाफा नई दिल्ली : राजधानी में लगातार चौथे साल अपराधों की संख्या में बढ़ोतरी हुई है। पिछले साल यानि 2012 में यहां आपराधिक मामलों में 1.75 प्रतिशत वृद्धि देखी गयी, वहीं चलती कार में पैरामेडिकल छात्रा के साथ चलती बस में सामूहिक बलात्कार समेत बलात्कार के मामलों में 23.43 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गयी।

हालांकि छीना-झपटी और वाहन चोरी जैसे सड़क पर होने वाले अपराधों में कमी देखी गयी। वर्ष 2011 की तुलना में पिछले साल जघन्य अपराधों में वृद्धि देखी गयी।

आपराधिक मामलों की संख्या 2011 के 53,353 की तुलना में पिछले साल बढ़कर 54,287 हो गयी। 2010 में इनकी संख्या 51,292 थी।

वाषिर्क रिपोर्ट में दिल्ली के पुलिस आयुक्त नीरज कुमार ने कहा, ‘2012 वैसे हमारे लिए संतोषजनक अंत लेकर आ रहा था लेकिन साल के अंतिम महीने में हुई जघन्य घटना (16 दिसंबर को हुई सामूहिक बलात्कार की घटना) ने इसे दुखद बना दिया। इससे देश स्तब्ध हो गया और लोगों ने सड़कों पर उतरकर अपना गुस्सा दिखाया जो ज्यादातर पुलिस के खिलाफ था।’
कुमार ने कहा, ‘लोगों द्वारा हमें निशाने पर लेना असामान्य नहीं है क्योंकि हम सरकार के अंग हैं। लेकिन यह गुस्सा केवल हमारे खिलाफ नहीं था बल्कि शायद आपराधिक न्यायिक व्यवस्था के खिलाफ भी था।’

वाषिर्क रिपोर्ट में हत्या के मामलों में कमी दिखायी गयी है। पुलिस के समक्ष दर्ज कराए गए मामलों के अनुसार जहां 2010 में हत्या के मामलों की संख्या 565 और 2011 में 543 थी वहीं पिछले साल यह घटकर 521 हो गयी। हत्या की संख्याओं में 4.05 प्रतिशत की कमी देखी गयी।

वाहन चोरी के मामलों में भी लगातार दूसरे साल कमी देखी गयी। जहां 2011 में इन मामलों की संख्या 14,668 थी वहीं 2012 में इनकी संख्या 14,391 रही। हालांकि राजधानी में महिलाओं के साथ बलात्कार और छेड़छाड़ की घटनाओं में क्रमश: 23.43 और 10.65 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गयी। 2011 के 572 बलात्कार मामलों की तुलना में 2012 में इन मामलों की संख्या बढ़कर 706 हो गयी। जबकि छेड़छाड़ के मामलों की संख्या 657 से बढ़कर 727 हो गयी। 2012 के आखिरी 15 दिनों में अकेले छेड़छाड़ के 75 मामले सामने आए।

आंकड़ों के अनुसार पिछले साल पूर्व के सालों की तुलना में डकैती, वसूली के लिए अपहरण, चोट और घरों में चोरी के मामलों में कमी देखी गयी।

कुमार ने दावा किया कि जघन्य अपराधों के 2,402 मामलों को सुलझाने में सफलता की दर 89.47 प्रतिशत रही। (एजेंसी)

First Published: Saturday, January 19, 2013, 12:46

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