Last Updated: Saturday, July 21, 2012, 10:20
ज़ी न्यूज ब्यूरोनई दिल्ली : दिल्ली में कांग्रेस और एनसीपी के बीच चल रही जंग की असली वजह के पीछे महाराष्ट्र के घोटालों की जांच तो नहीं? एक निजी चैनल का दावा है कि कांग्रेस और एनसीपी के बीच छिड़ी लड़ाई की असल वजह महाराष्ट्र के दो घोटाले हैं। पहला घोटाला 26 हजार करोड़ रुपए का है जो सिंचाई परियोजना से जुड़ा है और दूसरा घोटाला महाराष्ट्र सदन के निर्माण से जुड़ा है। महाराष्ट्र सरकार ने इन घोटालों की जांच का फैसला लिया है। इस कारण एनसीपी सुप्रीमो शरद पवार यूपीए सरकार पर दबाव बना रहे हैं।
सूत्रों के मुताबिक प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह और कांग्रेस अध्यक्ष को लिखे पत्र में पवार ने यह मांग उठाई है कि तारिक अनवर को राज्यसभा का उपसभापति बनाया जाए। पार्टी नेता जनार्दन वाघमारे को महाराष्ट्र का राज्यपाल बनाया जाए। राज्यपालों की नियुक्ति में पार्टी की राय ली जाए। पवार को और मंत्रालय दिए जाएं। इसके अलावा प्रणब मुखर्जी के इस्तीफे के बाद पवार की नजर रक्षा, वित्त और गृह मंत्रालय पर है। सुशील शिंदे को लोकसभा में सदन का नेता बनाए जाने की संभावना से भी पवार खफा बताए जा रहे हैं।
सूत्रों के मुताबिक एनसीपी अपने मंत्रियों को कभी भी सरकार से वापस बुला सकती है और यूपीए को बाहर से समर्थन देने का फैसला ले सकती है। एनसीपी सुप्रीमो शरद पवार का कहना है कि कांग्रेस एनसीपी के साथ अच्छा बर्ताव नहीं कर रही है। मालूम हो कि लोकसभा में एनसीपी के 9 सांसद और राज्यसभा में 7 सांसद यूपीए का हिस्सा हैं।
First Published: Saturday, July 21, 2012, 10:20