Last Updated: Thursday, April 25, 2013, 23:01

नई दिल्ली : उच्चतम न्यायालय ने गुरुवार को राजस्थान, हरियाणा, उत्तर प्रदेश, आंध्र प्रदेश, महाराष्ट्र और गोवा राज्यों के मुख्य सचिवों को पुलिस सुधारों और राज्य छानबीन समितियों के गठन के बारे में उसके निर्देशों पर अमल के बारे में हलफनामे दाखिल करने का निर्देश दिया।
न्यायमूर्ति जीएस सिंघवी की अध्यक्षता वाली खंडपीठ ने मुख्य सचिवों से कहा है कि वे हलफनामे में स्पष्ट करें कि इन समितियों का गठन कब किया गया और अब तक इसकी कितनी बैठकें हुई हैं। न्यायालय ने इन बैठकों की कार्यवाही का विवरण भी तलब किया है।
न्यायाधीशों ने कहा कि इस मामले की सुनवाई की अगली तारीख पर वे और निर्देश देने पर विचार करेंगे कि क्या उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश से राज्य छानबीन समिति के कामकाज की निगरानी का अनुरोध किया जा सकता है। न्यायलाय ने कहा कि ये हलफनामे तीन मई तक दाखिल किये जायें। इस मामले में अब छह मई को आगे सुनवाई होगी।
शीर्ष अदालत ने कहा कि सभी राज्यों को सोराबजी माडल, रिबेरो माडल या फिर एनएचआरसी माडल के अनुरूप ही राज्य छानबीन समिति गठित करनी है। न्यायालय ने यह आदेश उस समय दिया जब उसे बताया गया कि अधिकांश राज्यों ने इस बारे में शीर्ष अदालत के निर्देशों पर पूरी तरह अमल नहीं किया है। न्यायालय ने तरणतारण में एक युवती की पुलिस द्वारा सरेआम पिटाई और पटना में समान वेतन की मांग कर रहे संविदा शिक्षकों पर लाठीचार्ज की घटनाओं का स्वत: संज्ञान लेते हुये राज्यों से जवाब तलब किया था। लाठी चार्ज के दौरान धरने पर बैठी कुछ महिलाओं की भी कथित रूप से पिटाई की गई थी। (एजेंसी)
First Published: Thursday, April 25, 2013, 23:01