Last Updated: Saturday, December 17, 2011, 16:07
बेंगलुरु : मजबूत लोकपाल के लिए अपना अभियान तेज करते हुए अन्ना हजारे ने आज सरकार से कहा कि यदि वह मजबूत भ्रष्टाचार विरोधी कानून नहीं ला सकती तो वह सत्ता छोड़ दे। उन्होंने लोकपाल विधेयक के सरकारी मसौदे को खारिज कर दिया और इसे ‘बेकार’ करार दिया।
फ्रीडम पार्क में एक बड़े हुजूम को संबोधित करते हुए अन्ना हजारे ने कहा कि सरकार गरीबों की जरूरतों के प्रति ‘अंधी और बहरी’ हो गई है और भ्रष्टाचार के खिलाफ उनकी लड़ाई में उनकी मदद नहीं कर रही। उन्होंने कहा ‘मजबूत लोकपाल लाओ नहीं तो जाओ। इस तरह की सरकार की जरूरत क्या है जो मजबूत लोकपाल नहीं ला सकती ? यह सरकार अंधी और बहरी हो गई है।’ हजारे ने सरकार के मसौदे को ‘बेकार’ बताया और कहा कि जरूरत इस बात की है कि एक ‘एक अच्छा और मजबूत’ विधेयक लाया जाए।
गांधीवादी कार्यकर्ता ने कहा ‘मसौदा बेकार है। सरकार एक नया विधेयक लाए। हमने एक अच्छा विधेयक तैयार किया था। सरकार ने कहा कि वह बाहर से विधेयक क्यों लाएगी ? क्या हम बाहरी हैं ?’ हजारे ने कहा कि सरकार ने लोकपाल विधेयक का मसौदा तैयार करने के लिए संयुक्त समिति में छोटे-छोटे मुद्दों पर चर्चा की थी और केंद्रीय मंत्रिमंडल के समक्ष दो प्रारूप लाने का वायदा किया था। एक सरकार की ओर से और दूसरा सिविल सोसायटी का।
74 वर्षीय कार्यकर्ता ने कहा, ‘मंत्रिमंडल के समक्ष हमारा विधेयक नहीं लाया गया। यह झूठी सरकार है। इसलिए हमारे पास कोई विकल्प नहीं है और हम मजबूत लोकपाल के लिए आगे बढ़ेंगे।’ हजारे रविवार को एक ऐसे ही कार्यक्रम को संबोधित करने चेन्नई जाएंगे।
(एजेंसी)
First Published: Saturday, December 17, 2011, 21:38