Last Updated: Tuesday, September 20, 2011, 09:30
अहमदाबाद : वरिष्ठ कांग्रेस नेता व पूर्व केंद्रीय मंत्री शंकर सिंह वाघेला के नेतृत्व में कांग्रेस नेताओं का बीते तीन दिनों से चल रहा 74 घंटे का उपवास मंगलवार को खत्म हो गया. इस अवसर पर वाघेला ने कहा कि उनके इस उपवास ने स्पष्ट तौर पर प्रदर्शित कर कि मुख्यमंत्री नरेद्र मोदी ने गुजरात के लोगों के साथ किस तरह का विश्वासघात किया है.
कांग्रेस नेता वाघेला ने मंगलवार को यहां साबरमती आश्रम के बाहर अपना उपवास समाप्त किया. दो दलित समुदाय की बच्चियों ने उन्हे नींबू-पानी पिलाकर उपवास खत्म करवाया. उन्होंने कहा कि हमने गुजरात के लोगों का ध्यान इस बात की ओर आकर्षित करने के लिए यह उपवास किया कि उनकी धरती पर उन्हें स्वच्छ एवं पारदर्शी प्रशासन उपलब्ध कराने के लिए उनके द्वारा चुने हुए लोग आज क्या कर रहे हैं. उनका उपवास भ्रष्टाचार और मोदी सरकार के कुप्रशासन के खिलाफ था न कि सरकारी उपवास की तरह नेताओं का एक जश्न भर था.
वाघेला ने मोदी के सोमवार को समाप्त हुए सद्भावना उपवास के बारे में कहा कि हम भी अपनी पार्टी के राष्ट्रीय स्तर के शीर्ष नेताओं को आमंत्रित कर सकते थे. गुजरात कांग्रेस के अध्यक्ष अर्जुन मोदवाडिया, नेता प्रतिपक्ष शक्तिसिंह गोहिल, राज्य में पार्टी के पूर्व प्रमुख सिद्धार्थ पटेल और पूर्व उप मुख्यमंत्री नरहरि अमीन भी उपवास पर थे. गोहिल ने कहा कि हम जिम्मेदार विपक्ष के रूप में वर्तमान सरकार के गलत कामों के संबंध में लोगों को शिक्षित करने की दिशा में काम करते रहेगे. राष्ट्रीय कांग्रेस के नेताओं ने मोदी के उपवास कार्यक्रम के बारे में कहा कि उनके इस कार्यक्रम से निपटने के लिए प्रदेश स्तर पर वाघेला ही काफी है.
First Published: Tuesday, September 20, 2011, 21:02