वंशवाद की संस्था है कांग्रेस, परिवार सबसे ऊपर: जेटली। Family is supreme in congress party: Arun Jaitley

वंशवाद की संस्था है कांग्रेस, परिवार सबसे ऊपर: जेटली

वंशवाद की संस्था है कांग्रेस, परिवार सबसे ऊपर: जेटलीनई दिल्‍ली : कांग्रेस और पार्टी उपाध्यक्ष राहुल गांधी पर नरेंद्र मोदी के आलोचनात्मक रख को आगे बढ़ाते हुए भाजपा के वरिष्ठ नेता अरुण जेटली ने कांग्रेस को वंशवाद वाली संस्था करार दिया और कहा कि यह परिवार संसद और मंत्रिपरिषद से ऊपर माना जाता है।

दिल्ली में गत रविवार को हुई मोदी की रैली का जिक्र करते हुए राज्यसभा में विपक्ष के नेता जेटली ने कहा कि आगामी चुनावों में दो खास बातें होंगी। एक सत्ता विरोधी लहर और दूसरा नेतृत्व पर मतदान। भाजपा इन दोनों चीजों पर आगे बढ़ेगी। जेटली ने आरोप लगाया कि राहुल ने दोषी सांसदों पर कैबिनेट द्वारा मंजूर अध्यादेश के खिलाफ अपनी नाराजगी जाहिर करते हुए प्रधानमंत्री और मंत्रिपरिषद की छवि को खराब किया है।

उन्होंने कहा कि एक पार्टी जो वंशवाद की संस्था बन जाती है वे कभी स्थापित प्रणाली को स्वीकार नहीं करते। संसद और मंत्रिपरिषद स्थापित संस्थाएं हैं और कांग्रेस हमेशा इस व्यवस्था को निष्प्रभावी करने के बारे में सोचती है। जेटली ने कहा कि परिवार उनसे ऊपर होना चाहिए और जब परिवार में से कोई कुछ कहता है तो इसे लागू करना होता है। जब यह पिछले डेढ़ महीने से नैतिक मुद्दा था तो किसी ने कुछ नहीं कहा।

विवादास्पद अध्यादेश से जुड़े घटनाक्रम पर प्रतिक्रिया देते हुए भाजपा नेता ने कहा कि सरकार इस मूलभूत सिद्धांत को नहीं समझ सकी कि जो नैतिक रूप से अस्वीकार्य है वह राजनीतिक तौर पर भी स्वीकार्य नहीं है। जेटली ने आज एक समारोह में कहा कि 3 से 5 लोग दोषी साबित हो सकते हैं। एक दोषी व्यक्ति सांसद बना रहे, इसलिए कानून को बदलने का प्रयास किया गया। यह नैतिक रूप से अस्वीकार्य है। इसलिए यह राजनीतिक तौर पर स्वीकार्य कैसे हो सकता है? जुलाई के मध्य से यह चर्चा चल रही है। उन्होंने कहा कि अध्यादेश तब लाया गया जब संसद ने इस पर सहमति नहीं जताई।

एक तरह से चारा घोटाले में राजद अध्यक्ष लालू प्रसाद को दोषी ठहराए जाने का संकेत देते हुए जेटली ने कहा कि जिनके लिए अध्यादेश लाया गया, उन पर कार्रवाई हुई है और अब कांग्रेस नेता अपने चेहरे छिपा रहे हैं लेकिन यह स्थिति उनकी खुद की बनाई है। उन्होंने राहुल गांधी का नाम तो नहीं लिया लेकिन कहा कि इस सबके बाद वह आए और कहा कि अध्यादेश अस्वीकार्य है। उन्होंने प्रधानमंत्री और कैबिनेट मंत्रियों की छवि को खराब किया। मोदी ने रविवार को आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री जब विदेश में थे तो राहुल ने उनका अपमान किया।

प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह और पाकिस्तान के प्रधानमंत्री नवाज शरीफ की वाशिंगटन में हुई मुलाकात की आलोचना करते हुए जेटली ने कहा कि प्रधानमंत्री को देश में या देश से बाहर गंभीरता से नहीं लिया जाता। उन्होंने कहा कि पूरा देश चाहता है कि भारत सरकार मौजूदा परिदृश्य में पाकिस्तान से बातचीत नहीं करे।

जेटली ने कहा कि हो सकता है कि किसी ने कहा हो कि सचिव, संयुक्त सचिव या उच्चायोग स्तर की वार्ता होगी। लेकिन इसे प्रतिष्ठा का मुद्दा बना लिया गया और इसे सरकार के प्रमुखों की वार्ता बना दिया गया। लेकिन ये बातचीत तस्वीर खींचने के अवसर से ज्यादा कुछ नहीं थी। कोई प्रगति नहीं हुई और कोई नतीजा नहीं निकला। भाजपा नेता ने कहा कि जनता बदलाव की अपेक्षा कर रही है और उनकी पार्टी से उम्मीद कर रही है।

उन्होंने कहा कि भाजपा के प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार नरेंद्र मोदी की रैली में आ रही भीड़ इस चीज का नमूना है। जिन राज्यों में पार्टी अपने दम पर एक सीट नहीं जीत सकी वहां ऐतिहासिक रैलियां हो रहीं हैं। चाहे फिर दिल्ली हो, रेवाड़ी हो या तिरची हो। ये साधारण भीड़ नहीं है। जेटली ने कहा कि देश की आर्थिक स्थिति हो या भ्रष्टाचार हो या सुरक्षा हो, ये सभी मुद्दे देश में सत्ता विरोधी लहर को पैदा कर रहे हैं। (एजेंसी)

First Published: Tuesday, October 1, 2013, 18:21

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