Last Updated: Wednesday, April 10, 2013, 11:19
ज़ी न्यूज़ ब्यूरोनई दिल्ली : विकिलीक्स ने पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी को लेकर एक नया और सनसनीखेज खुलासा किया है। विकिलीक्स का दावा है कि 1974 में पोखरण में पहले परमाणु परीक्षण के बाद भारत ने पाकिस्तान को परमाणु तकनीक देने की पेशकश की थी। कहते हैं कि गांधी ने संसद में दिए बयान में इस बात का जिक्र भी किया था।
इंदिरा गांधी ने संसद में अपने बयान में कहा था, `मैंने अपनी चिट्ठी में पाकिस्तान के प्रधानमंत्री जुल्फिकार अली भुट्टो को इस परीक्षण के शांतिपूर्ण और आर्थिक मकसद की जानकारी दी और अगर वो चाहें तो हम अपनी परमाणु तकनीक पाकिस्तान के साथ साझा करने को तैयार हैं। साथ ही यह तकनीक दूसरे देशों के साथ भी साझा करने को तैयार हैं ताकि सब देशों के बीच इस मसले पर आपसी भरोसा और समझ कायम किया जा सके।`
इंदिरा गांधी का यह असाधारण प्रस्ताव दुस्साहसिक था लेकिन समान रूप से दूरदर्शी भी था। भारत का मानना यह था कि उसका परमाणु परीक्षण पाकिस्तान को नुकसान पहुंचाने के लिए विकसित नहीं किया गया है। हालांकि भुट्टो ने इंदिरा गांधी के प्रस्ताव को यह कहते हुए खारिज कर दिया था कि भारत ने पहले भी कई आश्वासन दिए थे लेकिन उनपर वह खरा नहीं उतरा। भुट्टो ने कहा कि परमाणु परीक्षण किसी परमाणु हमले से कम नहीं है।
गौरतलब है कि भारत द्वारा दूसरे परमाणु परीक्षण के बाद पाकिस्तान ने मई 1998 में अपना पहला परमाणु परीक्षा किया था। गांधी का पाकिस्तान को परमाणु तकनीक देने की पेशकश यह दर्शाना नहीं था कि भारत एक सक्षम परमाणु संपन्न देश बन गया है, बल्कि वह अपने आत्मविश्वास के जरिए दुनिया को यह अहसास कराना चाहती थी कि भारत अधिकृत परमाणु आपूर्तिकर्ता देश बन सकता है।
First Published: Wednesday, April 10, 2013, 11:19