‘विचाराधीन बंदियों को जेल में न रखें’ - Zee News हिंदी

‘विचाराधीन बंदियों को जेल में न रखें’

 

नई दिल्ली : अमेरिका में गोल्डमैन सॉक्‍स के पूर्व निदेशक रजत गुप्ता से जुड़े मामले का हवाला देते हुए कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह ने शुक्रवार को उन सभी लोगों को जमानत पर रिहा किए जाने की पुरजोर वकालत की जिनके मामले में जांच पूरी होने पर आरोपपत्र दाखिल किया जा चुका है।

 

सिंह का यह बयान टूजी स्पेक्ट्रम और राष्ट्रमंडल खेल से जुड़े भ्रष्टाचार के मामले में पूर्व दूरसंचार मंत्री ए. राजा, द्रमुक सांसद कनिमोई और कांग्रेस सांसद सुरेश कलमाडी को को जेल भेजे जाने की पृष्ठभूमि में सामने आई है। बहरहाल, कांग्रेस महासचिव ने जोर देकर कहा कि वह किसी का नाम नहीं ले रहे हैं।

 

सिंह ने माइक्रो ब्लागिंग साइट ट्विटर पर कहा कि यह जानकर अच्छा लगा कि रजत गुप्ता को जमानत मिल गई। क्या हमारी न्यायपालिका इससे कोई सीख लेगी और आरोपपत्र दाखिल होने के बाद विचाराधीनों को जेल में नहीं रखेगी। गुप्ता को अपने एक करीबी अरबपति मित्र राज राजरत्नम को आंतरिक सूचना दिए जाने के आरोप में गिरफ्तार किया गया था और उन्हें अपराध के संबंध में दोष नहीं मानने पर एक करोड़ डालर के मुचलके पर रिहा कर दिया गया।

 

बाद में दिग्विजय सिंह ने सुप्रीम कोर्ट के पूर्व न्यायाधीश न्यायमूर्ति वीआर कृष्णा अय्यर का हवाला देते हुए कहा कि दोषी साबित होने तक प्रत्येक आरोपी को जमानत प्राप्त करने का अधिकार है।

(एजेंसी)

First Published: Friday, October 28, 2011, 18:55

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