Last Updated: Wednesday, September 26, 2012, 14:35

नई दिल्ली: यह उल्लेख करते हुए कि भारत विश्व स्तर पर विज्ञान के क्षेत्र में बड़ा प्रभाव छोड़ने में सफल नहीं रहा है, प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने बुधवार को वैज्ञानिकों से बड़े सपने देखने और निराश नहीं होने को कहा ।
वैज्ञानिक एवं औद्योगिक अनुसंधान परिषद (सीएसआईआर) के 70वें स्थापना दिवस को संबोधित करते हुए मनमोहन ने कहा कि जटिल विकासात्मक चुनौतियों से निपटने में परंपरागत वैज्ञानिक विधा और दृष्टिकोण असमान साबित हुए हैं ।
उन्होंने कहा, ‘हम विश्व स्तर पर अपनी बड़ी वैज्ञानिक शक्ति का प्रभाव छोड़ने में सफल नहीं रहे हैं ।’ प्रधानमंत्री का यह भाषण सीएसआईआर की सभी 37 प्रयोगशालाओं में वेबसाइट पर प्रसारित किया गया । उन्होंने अपने भाषण में परिषद के 70 साल के सफर में इसकी उपलब्धियों की सराहना की, लेकिन कहा कि उन्हें सिर्फ सम्मान पाकर ही नहीं बैठ जाना चाहिए ।
मनमोहन ने कहा, ‘हालांकि, हम अपनी सभी उपलब्धियों के साथ, हम अपने सम्मानों से ही संतुष्ट नहीं हो सकते । राष्ट्र के तौर पर, हम वैज्ञानिक अनुसंधान में अपना निवेश सकल घरेलू उत्पाद का दो प्रतिशत तक बढ़ाने के लिए विज्ञान के क्षेत्र में निजी निवेश आकषिर्त करने में सफल नहीं रहे हैं ।’ (एजेंसी)
First Published: Wednesday, September 26, 2012, 14:35