Last Updated: Wednesday, May 2, 2012, 09:12
नई दिल्ली: नक्सलियों से सहानुभूति रखने वाली सोनी सूरी के आरोपों पर सुप्रीम कोर्ट ने एम्स से उनका उपचार करने और आरोपों की पुष्टि करने को कहा । सूरी ने आरोप लगाए थे कि उनके गुप्तांगों में बाहरी वस्तु डाले गए ।
न्यायमूर्ति अल्तमस कबीर और न्यायमूर्ति जे चेलमेश्वर ने अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान के निदेशक से कहा कि उसे हर तरह का चिकित्सकीय सहयोग दिया जाए और दस जुलाई तक इसके समक्ष रिपोर्ट सौंपी जाए ।
सूरी माओवादियों की संदिग्ध सदस्य हैं जिन पर पुलिस ने इस्सार समूह से सुरक्षा मुहैया कराने के लिए राशि लेने का आरोप लगाया है । छत्तीसगढ़ पुलिस ने पिछले वर्ष चार अक्तूबर को उसे दक्षिण दिल्ली से गिरफ्तार किया था और पूछताछ के लिए उसे दंतेवाड़ा ले गई थी । इस्सार ने माओवादियों को धन देने की बात से इंकार किया है ।
सुप्रीम कोर्ट ने एम्स के निदेशक को विशेष चिकित्सकीय बोर्ड का गठन करने को कहा जिसमें महिला रोग विभाग की प्रमुख, एक इंडोक्रायोनोलॉजिस्ट और एक हृदय रोग विशेषज्ञ शामिल हों । अदालत ने आरोपों पर गौर करने और उसे पर्याप्त चिकित्सा सुविधा मुहैया कराने का भी निर्देश दिया
। (एजेंसी)
First Published: Wednesday, May 2, 2012, 14:43