Last Updated: Tuesday, July 30, 2013, 19:51

रांची : झारखंड के जेल में बंद पूर्व मुख्यमंत्री मधु कोड़ा को मंगलवार को झारखंड उच्च न्यायालय ने राजीव गांधी ग्रामीण विद्युतीकरण योजना में हुए करोड़ों रुपए के घोटाले के मामले में भी जमानत दे दी। इससे करीब 44 माह बाद अब उनके जेल से छूटने का रास्ता साफ हो गया है। रिहाई के लिए कोड़ा को एक-एक लाख रुपये की दो जमानतें निचली अदालत में देने को कहा गया है।
न्यायमूर्ति एच सी मिश्रा की एकल पीठ ने करोड़ों रुपए के राजीव गांधी ग्रामीण विद्युतीकरण घोटाले में मधु कोड़ा को जमानत दे दी क्योंकि केन्द्रीय जांच ब्यूरो इस मामले की जांच प्रारंभ करने के बाद पिछले दो वर्षों में भी अबतक आरोप पत्र नहीं दाखिल कर सका है।
सर्वोच्च न्यायालय ने इस मामले में कोड़ा की अर्जी की सुनवाई करते हुए अप्रैल माह में सीबीआई को तीन माह के भीतर आरोप पत्र दाखिल करने को कहा था अन्यथा इस मामले में कोड़ा को जमानत देने के संकेत दिये थे।
न्यायालय ने कोड़ा को एक-एक लाख रुपये की दो जमानतों पर रिहा करने के निर्देश दिये। उच्च न्यायालय ने कोड़ा को इस मामले की सुनवाई कर रही विशेष सीबीआई अदालत में अपना पासपोर्ट भी जमा करने के निर्देश दिये। विदेश जाने की स्थिति में कोड़ा को अदालत से अनुमति लेनी होगी।
मधु कोड़ा के अधिवक्ता ने झारखंड उच्च न्यायालय में दलील दी कि सीबीआई इस मामले में सर्वोच्च न्यायालय के निर्देश के बावजूद अबतक आरोप पत्र नहीं दाखिल कर सकी है और जानबूझकर इस मामले को लटका रही है। विगत लगभग दो वर्षों से इस मामले की जांच सीबीआई कर रही है।
मधु कोड़ा तीस नवंबर 2009 से चार हजार करोड़ रुपये से अधिक के घोटाले से जुड़े अनेक मामलों में जमानत न मिलने से जेल में बंद थे। कोड़ा पर प्रवर्तन निदेशालय, सीबीआई, आयकर विभाग और झारखंड निगरानी ब्यूरो ने विभिन्न मामले दर्ज कर रखे हैं इनमें से अन्य सभी मामलों में उन्हें पहले ही उच्च न्यायालय तथा सर्वोच्च न्यायालय से जमानत मिल चुकी है।
राजीव गांधी ग्रामीण विद्युतीकरण योजना के तहत कोड़ा के मुख्यमंत्रित्व काल में पांच जिलों में पांच सौ करोड़ रुपये की लागत से विद्युतीकरण का काम होना था लेकिन आरोप है कि इस काम का ठेका गलत ढंग से दिया गया था। (एजेंसी)
First Published: Tuesday, July 30, 2013, 19:51