Last Updated: Tuesday, June 19, 2012, 15:45

नई दिल्ली: बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा है कि राजग का प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार ऐसा होना चाहिए जिसकी छवि धर्मनिरपेक्ष हो । उनके इस बयान को जहां गुजरात के मुख्यमंत्री नरेन्द्र मोदी की संभावनाओं पर पानी फेरने वाला कहा जा सकता है वहीं इससे भाजपा और जनता दल यू गठबंधन के बीच नया फसाद भी खड़ा हो सकता है ।
राष्ट्रपति पद के चुनाव को लेकर भाजपा और जद यू गठबंधन के बीच पहले से ही मतभेद जारी हैं और ऐसे में नीतीश कुमार की टिप्पणी उनके सहयोगी दलों से बेमेल है । उन्होंने संकेत दिया कि प्रधानमंत्री पद के लिए भाजपा की पहली पसंद इस लायक नहीं है ।
लोकसभा चुनाव के बाद प्रधानमंत्री का चयन किए जाने के भाजपा के विचारों के विपरीत कुमार ने कहा, ‘राजग को अपना उम्मीदवार घोषित करना पड़ेगा। मतदाताओं को पता होना चाहिए कि वे किसके लिए मतदान कर रहे हैं और कौन देश का नेतृत्व करेगा। राजग का नेता ऐसा होना चाहिए जो बिहार जैसे अविकसित राज्यों के लिए कोई अहसास रखता हो।’
दी इकोनोमिक टाइम्स को दिए साक्षात्कार में नीतीश कुमार ने कहा, ‘वह ऐसा व्यक्ति नहीं होना चाहिए जो विकसित राज्यों का विकास कर सकता हो, बल्कि ऐसा व्यक्ति हो जो अविकसित राज्यों का दर्द समझता हो ।’
नीतीश कुमार ने हालांकि किसी का नाम नहीं लिया लेकिन परोक्ष रूप से वह नरेन्द्र मोदी की ही बात कर रहे थे जिनके साथ उनके स्वस्थ संबंध नहीं हैं । दोनों के बीच पिछले दिनों वाकयुद्ध छिड़ गया था जब मोदी ने कहा था कि बिहार जातिगत राजनीति के कारण पिछड़ा राज्य रह गया। (एजेंसी)
First Published: Tuesday, June 19, 2012, 15:45