Last Updated: Saturday, March 31, 2012, 07:57
रांची : कांग्रेस और झारखण्ड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) ने निर्वाचन आयोग से उसके उस कदम की समीक्षा करने की मांग की है, जिसके तहत उसने झारखण्ड में राज्यसभा की दो सीटों के लिए हुए चुनाव को रद्द करने की राष्ट्रपति प्रतिभा पाटील से सिफारिश की है।
राज्यसभा चुनाव में कथित खरीद-फरोख्त की खबरों के बीच एक निर्दलीय उम्मीदवार के रिश्तेदार की कार से बड़ी मात्रा में धन बरामद होने के बाद निर्वाचन आयोग ने शुक्रवार को झारखण्ड में राज्यसभा की दो सीटों के लिए मतों की गिनती रोक दी, और राष्ट्रपति प्रतिभा पाटील से चुनाव अधिसूचना रद्द करने की सिफारिश कर दी।
झारखण्ड में आयकर विभाग ने इसके पहले जमशेदपुर से रांची आ रही एक इनोवा कार से 2.15 करोड़ रुपये जब्त किए थे। समझा जाता है कि यह धनराशि कथित तौर पर कुछ विधायकों के वोट खरीदने के लिए थी।
सिफारिश की समीक्षा की मांग करते हुए कांग्रेस की झारखण्ड इकाई के अध्यक्ष और राज्यसभा उम्मीदवार, प्रदीप बालमुचू ने संवाददाताओं से कहा, निर्वाचन आयोग को इस निर्णय की समीक्षा करनी चाहिए। निर्वाचन आयोग को भेजी गई रपट की सामग्री की जानकारी हमें नहीं है। निर्वाचन आयोग को जो जानकारी दी गई है, उसपर विचार करने की आवश्यकता है।
भाजपा के समर्थन से अपने उम्मीदवार संजीव कुमार की जीत के प्रति आश्वस्त झामुमो ने भी इस निर्णय की समीक्षा की मांग की है। झामुमो के महासचिव सुप्रियो भट्टाचार्य ने कहा, "हमें निर्वाचन आयोग की सिफारिश से ठेस पहुंची है। निर्वाचन आयोग को अपने निर्णय की समीक्षा करनी चाहिए और राष्ट्रपति को चुनाव के सभी पहलुओं पर विचार करना चाहिए।
निर्वाचन आयोग ने एक बयान में कहा है कि आयोग इस बात से संतुष्ट है कि दो राज्यसभा सीटों के लिए द्विवार्षिक चुनाव की प्रक्रिया के साथ गम्भीर छेड़छाड़ की गई है और इसके कारण राष्ट्रपति से सिफारिश की गई है कि चुनावी अधिसूचना रद्द कर दी जाए।
दो सीटों के लिए हुए इस चुनाव में दो निर्दलीयों सहित पांच उम्मीदवार मैदान में थे। इन पांचों उम्मीदवारों में झामुमो के संजीव कुमार, कांग्रेस के प्रदीप बालमुचू, झारखण्ड विकास मोर्चा-प्रजातांत्रिक (जेवीएम-पी) के प्रवीण कुमार सिंह, और दो निर्दलीय आरके अग्रवाल व पवन कुमार धूत शामिल हैं।
(एजेंसी)
First Published: Saturday, March 31, 2012, 13:29