Last Updated: Monday, June 24, 2013, 19:56

नई दिल्ली : भारी बारिश और अचानक आई बाढ़ के कारण उत्तराखंड में भारी तबाही के बीच राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकार (एनडीएमए) ने सोमवार को कहा कि अगर मौसम विभाग सटीक भविष्यवाणी करता तब लोगों की जान बचाई जा सकती थी।
एनडीएमए के उपाध्यक्ष एम. शशिधर रेड्डी ने कहा कि मौसम विभाग को और सटीक आकलन एवं भविष्यवाणी की क्षमता विकसित करनी चाहिए। उन्होंने कहा कि भारतीय मौसम विभाग (आईएमडी) मौसम की भविष्यवाणी के एक मानक प्रारूप का अनुसरण करता है और बारिश, भारी बारिश जैसी शब्दावली का उपयोग करता है, लेकिन क्या हम इसे अमल में ला पाते हैं? उन्हें इस बात को स्पष्ट करना चाहिए कि कहां और कितनी बारिश होगी। रेड्डी जलवायु परिवर्तन पर दक्षिण एशिया क्षेत्रीय विचार कार्यशाला को संबोधित कर रहे थे।
कैग की हाल की रिपोर्ट में एनडीएमए के कामकाज की आलोचना किए जाने के बारे में पूछे जाने पर रेड्डी ने स्वीकार किया कि आपदा तैयारी के स्तर पर एजेंसी में कुछ खामियां हैं। उन्होंने कहा कि जहां तक हमारी कमियों का सवाल है, हम इसे दूर करने के लिए काम करने को तैयार है। रेड्डी ने हालांकि कहा कि सरकारी आडिटर को आपदा की संवेदनशीलता के बारे में बताए जाने की जरूरत है। (एजेंसी)
First Published: Monday, June 24, 2013, 19:56