रहस्य बनकर रह जाएगी आरूषि की हत्या?

रहस्य बनकर रह जाएगी आरूषि की हत्या?

रहस्य बनकर रह जाएगी आरूषि की हत्या? ज़ी मीडिया ब्यूरो

नई दिल्ली: आरूषि तलवार और हेमराज की हत्या किसने की? दोनों की हत्या के पांच साल बीत जाने के बाद भी यह सवाल अब तक अनसुलझा है कि आखिर इनकी हत्या के मुजरिम कौन हैं। 14 साल की आरूषि नोएडा के अपने घर में मृत मिली थी, जबकि उसके घरेलू नौकर हेमराज का शव एक दिन बाद छत पर मिला था। गाजियाबाद स्थित कोर्ट में अपनी बेटी और घरेलू नौकर की हत्या के मामले में दंत चिकित्सक दंपति राजेश और नूपुर तलवार के खिलाफ सुनवाई चल रही है।

केंद्रीय जांच ब्यूरो यानी सीबीआई ने दिसंबर 2010 में क्लोजर रिपोर्ट दाखिल किया था, जिसमें उसने कहा था कि राजेश मुख्य संदिग्ध थे लेकिन उनके खिलाफ सबूत नहीं थे। अब सीबीआई की दलील है कि अभिभावक ही जिम्मेदार हैं। यह बात समझ से परे है कि पहले तो उनके खिलाफ सबूत नहीं थे और अब वह लोग हत्या के जिम्मेदार हो गए। कुल मिलाकर यह मामला हमेशा उलझा रहा या फिर उलझाया गया, यह बात भी समझ से परे है।

दिल्ली पब्लिक स्कूल की छात्रा आरूषि, 16 मई 2008 की सुबह नोएडा के जलवायु विहार अपार्टमेंट के अपने घर में मृत मिली थी। आरूषि की हत्या केस में पहले हेमराज को प्रमुख संदिग्ध माना गया, लेकिन एक दिन बाद उसका शव छत पर मिला। तब से पांच साल बीत गए, लेकिन सुनवाई का कुछ नहीं निकला।

आरूषि के पिता राजेश तलवार को हत्या के कुछ दिन बाद ही गिरफ्तार कर लिया गया था और 50 दिनों बाद सबूतों के अभाव में रिहा कर दिया गया था। नूपुर को अप्रैल 2012 में हिरासत में लिया गया और 25 सिंतबर को जमानत पर रिहा किया गया। सीबीआई ने गाजियाबाद की विशेष अदालत में दिसंबर 2010 में क्लोजर रिपोर्ट दाखिल की।

First Published: Thursday, May 16, 2013, 11:15

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