Last Updated: Thursday, June 20, 2013, 18:56

नई दिल्ली : राजा भैया के नाम से चर्चित उत्तर प्रदेश के पूर्व मंत्री रघुराज प्रताप सिंह का लाई-डिटेक्शन टेस्ट हुआ । प्रतापगढ़ जिले के कुंडा के डीएसपी जिया-उल-हक की हत्या के सिलसिले में रघुराज का यह टेस्ट हुआ है । सूत्रों ने बताया कि लाई-डिटेक्शन टेस्ट के लिए रघुराज सुबह केंद्रीय फॉरेंसिक एवं वैज्ञानिक प्रयोगशाला आए । लखनउ की एक अदालत ने रघुराज के लाई-डिटेक्शन टेस्ट के लिए अपनी सहमति दी थी ।
विधायक ने पहले कहा था कि उन्होंने अपने बयान में कोई बदलाव नहीं किया है और किसी भी टेस्ट का सामना करने से नहीं घबराते हैं । लाई-डिटेक्शन टेस्ट को सही ठहराते हुए सीबीआई ने अदालत में कहा था कि रघुराज एक संदिग्ध हैं और एजेंसी को उनके पोलिग्राफिक टेस्ट की इजाजत देनी चाहिए ।
हुआ लाई-डिटेक्शन टेस्ट करीब 90 मिनट तक चला । टेस्ट के नतीजे अगले कुछ दिनों में सीबीआई को बता दिए जाएंगे । सूत्रों ने बताया कि उत्तर प्रदेश सरकार में खाद्य एवं आपूर्ति मंत्री रहे रघुराज ने किसी भी सवाल से कन्नी नहीं काटी ।
लाई-डिटेक्शन टेस्ट के नतीजे प्राथमिक प्रमाण तो नहीं माने जा सकते पर इसे परिस्थितिजन्य सबूत माना जाएगा और इससे ऐसी जानकारी मिल सकती है जिसे विस्तृत जांच के बाद विकसित किया जा सकता है । सीबीआई ने हत्या के सिलसिले में आरोप-पत्र दायर किया है लेकिन इसमें रघुराज को आरोपी नहीं बनाया गया है । जांच एजेंसी ने 15 और 16 मई को पूर्व मंत्री से पूछताछ की थी । (एजेंसी)
First Published: Thursday, June 20, 2013, 18:56