सीएम नीतीश ने अपनी पार्टी के नेताओं को चेताया

सीएम नीतीश ने अपनी पार्टी के नेताओं को चेताया

पटना : सेकुलर प्रधानमंत्री के उम्मीदवार के मुद्दे पर बयानबाजी के कारण बिहार राजग के भीतर जदयू और भाजपा के संबंधों में आयी तल्खी को दूर करने के प्रयास में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने जदयू के प्रवक्ताओं से विवादास्पद बयान देने से आज परहेज करने को कहा।

पार्टी सूत्रों ने बताया कि पार्टी के प्रवक्ताओं और वरिष्ठ नेताओं के साथ बैठक के दौरान मुख्यमंत्री ने प्रवक्ताओं से कहा कि वे कोई भी विवादास्पद बयान नहीं दें। कोई भी बयान देने से पहले प्रदेश अध्यक्ष वशिष्ठ नारायण सिंह से विचार विमर्श कर लें। प्रदेश अध्यक्ष नहीं हो तो वे मुख्यमंत्री से भी विचार विमर्श करें।

पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष वशिष्ठ नारायण सिंह ने बताया कि मुख्यमंत्री ने सभी नेताओं और प्रवक्ताओं से विवादास्पद बयान देने से बचने को कहा। राजग गठबंधन के प्रतिकूल कोई भी बयान देने से प्रवक्ताओं को बयान देने से परहेज करने को कहा गया है।

वशिष्ठ नारायण सिंह ने कहा कि बिहार में राजग गठबंधन अक्षुष्ण है। यह पूर्ववत काम करता रहेगा।
मुख्यमंत्री के एक अणे मार्ग स्थित आवास पर आयोजित यह बैठक चार घंटे से भी अधिक समय तक चली। बैठक में प्रवक्ताओं के अलावा, कई वरिष्ठ नेता और मंत्री उपस्थित थे।

इलेक्ट्रानिक मीडिया और प्रिंट मीडिया में अलग-अलग अपनी बात रखने के लिए प्रवक्ताओं की टीम बनाये जाने के मुद्दे पर सिंह ने कहा, इस प्रकार की किसी टीम का गठन नहीं किया गया है। राष्ट्रीय अध्यक्ष शरद यादव की तरह वशिष्ठ ने भी कहा कि राजग मे भाजपा और जदयू का गठबंधन मजबूत है। यह किसी प्रकार से कमजोर नहीं है।

उल्लेखनीय है कि सेकुलर छवि के प्रधानमंत्री उम्मीदवार के संबंध में नीतीश कुमार का साक्षात्कार आने के बाद भाजपा और जदयू के नेता एक दूसरे के खिलाफ वाकयुद्ध में उलझ गये थे। बयानबाजी से कटुता इस कदर बढ गयी कि गठबंधन तोड़ने की धमकी दी जाने लगी थी।

प्रदेश अध्यक्ष ने बताया कि मैराथन बैठक के दौरान बिहार को विशेष राज्य का दर्जा देने के लिए अभियान और संघर्ष जारी रखने, सदस्यता अभियान को तेज करने और वृक्षारोपण को गति देने पर विशेष चर्चा हुई।

विशेष राज्य का दर्जा मिलने पर बिहार को मिलने वाले लाभ और केंद्र सरकार की नीतियों के कारण बिहार को हो रहे नुकसान के बारे में जानकारी देने के लिए विशेष तौर पर अर्थशास्त्री शैवाल गुप्ता को न्यौता दिया गया था।
सिंह ने बताया कि बैठक में विशेष राज्य के दर्जा के लिए गांधी मैदान में छह नवंबर को होने वाली अधिकार रैली पर भी विशेष चर्चा की गयी। प्रकोष्ठ के नेताओं को प्रेरित किया गया। (एजेंसी)

First Published: Saturday, June 23, 2012, 19:29

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