Last Updated: Tuesday, August 13, 2013, 13:53
हैदराबाद: रायलसीमा और तटीय आंध्र प्रदेश (सीमांध्र) में चार लाख से अधिक कर्मचारियों के अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चले जाने से सामान्य जनजीवन प्रभावित हुआ है। कर्मचारियों ने पृथक तेलंगाना राज्य के गठन का फैसला वापस लिए जाने की मांग को लेकर हड़ताल बुलाई है। सोमवार आधी रात के बाद से 12,000 बसों का परिचालन रुक जाने से यहां सड़क यातायात ठप्प हो गया है। आंध्र प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम (एपीएसआरटीसी) के कर्मचारियों ने भी इस हड़ताल में हिस्सा लिया है।
सीमांध्र में पिछेल दो सप्ताह से बंद जारी है। सभी सरकारी विभागों के कर्मचारी भी इस बंद से जुड़ गए हैं। बंद का आह्वान करने वाली आंध्र प्रदेश नॉन गैजेटेड ऑफिसर्स (एपीएनजीओ) एसोसिएशन ने स्वास्थ्य सेवा, नगरनिगम प्रशासन और बिजली विभाग को छूट दी है। राज्य सचिवालय में काम करने वाले सीमांध्र के कर्मचारी और हैदारबाद के सराकारी कार्यालय भी इस बंद का समर्थन कर रहे हैं।
सीमांध्र के सभी 13 जिलों में दुकानें, व्यवसायिक केंद्र और शिक्षण संस्थान बंद हैं। यहां पेट्रोल पंप के मालिक भी हड़ताल से जुड़ गए हैं और पेट्रोल पंपों को आधी रात के बाद से 24 घंटे के लिए बंद करने का आह्वान किया गया है। वकीलों ने भी राज्य के बंटवारे के विरोध में अदालतों का बहिष्कार करने का फैसला किया है।
संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (संप्रग) और कांग्रेस कार्य समिति (सीडब्ल्यूसी) द्वारा तेलंगाना राज्य के गठन की मांग मान लेने पर 30 जुलाई से सीमांध्र में प्रदर्शन और बंद जारी हैं। एपीएनजीओ ने यह बंद सीमांध्र से ताल्लुक रखने वाले केंद्रीय और राज्य मंत्रियों, सांसदों और विधायकों द्वारा केंद्र पर दबाव बनाने के लिए इस्तीफा न दिए जाने पर बुलाया है। (एजेंसी)
First Published: Tuesday, August 13, 2013, 13:53