अधूरी रह गई ‘बिग बॉस’ से महिला अधिकारों की आवाज उठाने की इच्छा: सम्पत

अधूरी रह गई ‘बिग बॉस’ से महिला अधिकारों की आवाज उठाने की इच्छा: सम्पत

अधूरी रह गई ‘बिग बॉस’ से महिला अधिकारों की आवाज उठाने की इच्छा: सम्पतलखनऊ : उत्तर प्रदेश के बुंदेलखण्ड इलाके में महिला अधिकारों की सशक्त आवाज मानी जाने वाली सम्पत पाल का कहना है कि वह रियलिटी शो ‘बिग बास’ के जरिये गांवों की औरतों के मुद्दों को सम्भ्रान्त वर्ग के बीच पहुंचाने की इच्छा पूरी नहीं कर सकीं।

‘बिग बास’ के घर से पिछले महीने विदा हुईं सम्पत ने बताया कि वह गरीब और गैर पढ़े-लिखे परिवार की पृष्ठभूमि की हैं और उन्हें लगता था कि ‘बिग बास’ के मंच से वह महिला अधिकारों की बात को समाज के बड़े वर्ग तक पहुंचा सकती हैं, लेकिन ऐसा नहीं हो सका।

उन्होंने कहा ‘‘मैं महिला अधिकारों की बात करना चाहती थी लेकिन बिग बास के घर के लोग मेरी बात सुनने को तैयार नहीं होते थे। इसी वजह से मेरा वहां मन नहीं लगा और मैं वहां से चली आयी। जो बात मैं नहीं कह पाती थी उसे लेकर थोड़ा उदास रहती थी। वैसे मुझे बिग बास के घर में और कोई तकलीफ नहीं थी।’’ बिग बास के प्रतिभागियों के बीच ‘माता जी’ के नाम से पुकारी जाने वाली सम्पत ने साफगोई से कहा ‘‘मैं ज्यादा पढ़ी-लिखी नहीं हूं। बिग बास में सब पढ़े-लिखे लड़की-लड़के थे और वे टीवी कलाकार भी थे। मैं उनके गेम को नहीं समझ सकी। मैं किसी से झगड़ा नहीं करती थी।’’ गौरतलब है कि औरतों के अधिकारों की पैरोकार बुंदेलखण्ड की महिलाओं को एकजुट कर ‘गुलाबी गैंग’ बनाने वाली सम्पत ने ‘बिग बास’ में हिस्सा लेने से ऐन पहले कहा था कि वह इस मंच से महिला अधिकारों की बातों को पुरजोर ढंग से रखेंगी।


सम्पत ने कहा कि यह उनकी किस्मत ही थी कि उन्हें बिग बास के घर में प्रवेश मिला। उन्होंने कहा कि वह एक मकसद लेकर वहां गयी थीं लेकिन वह पूरा नहीं होते देख खुद को ‘नामिनेट’ करवाकर वापस चली आयीं। यह पूछे जाने पर कि क्या उन्होंने खुद को ‘नामिनेट’ करवाया था, सम्पत ने कहा कि वास्तव में ऐसा नहीं था लेकिन उससे कुछ दिन पहले वह बिग बास के घर के माहौल को लेकर रो रही थीं और घर के बाकी सदस्यों से उन्हें घर से बाहर भेजने को कह रही थीं। सम्भवत: उसी बात को ध्यान में रखकर उनका ‘नामिनेशन’ किया गया था।

हालांकि सम्पत ने कहा कि बिग बास से उन्हें व्यापक पहचान जरूर मिली है। उन्होंने कहा कि पहले ज्यादातर बुंदेलखण्ड के लोग ही उन्हें पहचानते थे लेकिन अब टीवी पर नजर आने के बाद उनसे मुलाकात करने के लिये लोगों की भीड़ लग जाती है। (एजेंसी)

First Published: Sunday, December 2, 2012, 17:32

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