उत्तराखंड में बारिश की आशंका के बीच बचाव कार्य तेज | Uttarkhand

उत्तराखंड में बारिश की आशंका के बीच बचाव कार्य तेज

उत्तराखंड में बारिश की आशंका के बीच बचाव कार्य तेज नई दिल्ली/हैदराबाद : उत्तराखंड में सोमवार से और बारिश होने की आशंका के बीच सरकार ने शनिवार को बाढ़ से तबाह इस राज्य में बचाव कार्यों में तेजी लाने का फैसला किया है।

सू़त्रों ने बताया कि मंत्रिमंडल सचिव अजीत सेठ ने शनिवार को प्रधानमंत्री मनमोहन को राज्य के हालात की जानकारी देते हुए इस निर्णय से अवगत कराया।

बचाव अभियान में जुटे विभागों के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक के बाद सेठ प्रतिदिन सुबह और शाम प्रधानमंत्री को वहां के हालात की जानकारी दे रहे हैं।

सूत्रों ने बताया कि मंत्रिमंडल सचिव ने प्रधानमंत्री को बताया है कि सेना, वायु सेना, अर्ध सैनिक बलों और बचाव अभियान में जुटी दूसरी एजेंसियों ने 66,000 लोगों को वहां से निकाल लिया है।

उन्होंने बताया कि फंसे हुए लोगों को बाहर निकालने और राहत सामग्री वितरण के लिए सेना और वायु सेना सहित कुल 56 हेलीकॉप्टरों रोजाना 220 उड़ान भर रहे हैं।

सूत्रों ने कहा कि सोमवार को और बारिश होने की आशंका को देखते हुए राहत कार्यों में तेजी लाई जाएगी और आज एवं रविवार को 500 उड़ानें भरी जाएंगी।

सेना के करीब 6,200 जवान और इतनी ही संख्या में अर्ध सैनिक बल वहां फंसे हुए लोगों को बचाने के काम में दिन रात जुटे हुए हैं। इस बैठक में बताया गया कि राज्य का करीब 40,000 किलोमीटर का हिस्सा बाढ़ से प्रभावित हुआ है।

मंत्रिमंडल सचिव ने रक्षा सचिव, गृह सचिव, वायु सेना प्रमुख, थल सेना के उप प्रमुख, बीआरओ के महानिदेशक, आईटीबीपी के महानिदेशक और बाढ़ के हालात से निपटने के लिए बतौर नोडल अधिकारी नियुक्त पूर्व गृह सचिव वी के दुग्गल के साथ बैठक करने के बाद प्रधानमंत्री को राज्य के हालात से अवगत कराया।

इस बीच, सेना प्रमुख जनरल बिक्रम सिंह ने कहा कि पर्वतीय क्षेत्रों से फंसे हुए लोगों को निकालने के लिए प्रयास तेज किये जा रहे हैं क्योंकि ‘समय बहुत सीमित है।’ सेना ने अभियान में अपनी उपस्थिति बढ़ाई हे। उसने अपने कर्मचारियों की संख्या 500 से बढ़ा कर 6000 से अधिक कर दी है।

जनरल सिंह ने कहा, ‘समय सीमित है। हमारे पास रविवार तक का ही मौका है क्योंकि मुझे बताया गया है कि मौसम फिर बिगड़ सकता है लेकिन हम अपने लोगों को वहां भेज रहे हैं।’ सेना प्रमुख शहर के बाहरी क्षेत्र डुंडीगल में वायुसेना अकादमी में संयुक्त स्नातक परेड की समीक्षा के बाद संवाददाताओं से बातचीत कर रहे थे।

उन्होंने उत्तराखंड में अचानक आयी बाढ़ और बादलों के फटने को ‘बहुत दुखद और बड़ी त्रासदी’ करार दिया जिसके कारण बड़ी संख्या में लोग मारे गये और हजारों के फंसे होने की आशंका है।

जनरल सिंह ने कहा, ‘यह समय साध्य प्रयास है, बारिश के कारण सड़कें बह गयी हैं। पहुंच के रास्ते सीमित हैं लेकिन इसके बावजूद हम अपना सर्वोत्तम प्रयास कर रहे हैं क्योंकि अमूल्य जिंदगियों को बचाना बेहद महत्वपूर्ण है और यह सुनिश्चित करना भी महत्वपूर्ण है कि वहां पर मौजूद अपने देशवासियों की आकांक्षाओं को पूरा किया जाये।’

उन्होंने कहा कि यह सुनिश्चित करने प्रयास चल रहे हैं कि सेना कर्मी मुश्किल क्षेत्रों में दवाई, राशन आदि आवश्यक साजोसामान के साथ आगे बढे ताकि अभूतपूर्व आपदा में फंसे लोगों को निकाला जा सके। हम उनकी पीड़ाओं को कम करने और उनकी बुनियादी जरूरतों को पूरा करने का प्रयास कर रहे हैं। (एजेंसी)



First Published: Saturday, June 22, 2013, 18:13

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