Last Updated: Saturday, February 23, 2013, 17:23

नई दिल्ली : भाजपा ने आज सरकार को आगाह किया है कि वह राम सेतु से छेड़छाड़ करने वाली सेतुसमुद्रम परियोजन पर आगे नहीं बढ़े, क्योंकि इससे करोड़ों हिन्दुओं की आस्था जुड़ी हुई है। उसने इस योजना को तुरंत रद्द करने की मांग की।
पार्टी प्रवक्ता रविशंकर प्रसाद ने यहां कहा, ‘राम सेतु से किसी भी तरह की छेड़छाड़ को हिन्दू बर्दाश्त नहीं करेंगे। हम राम सेतु मामले में सरकार को चेतावनी देना चाहते हैं। यह सरकार सेतुसमुद्रम मामले में आरके पचौरी समिति की सिफारिशों की अनदेखी करके परियोजना पर आगे बढ़ रही है। यह मुद्दा हिन्दू भावना और आस्था से जुड़ा है।’ उच्चतम न्यायालय में दाखिल पचौरी समिति ने अपनी रिपोर्ट में कहा है कि सेतुसमुद्रम जहाजरानी चैनल परियोजना आर्थिक और पर्यावरणीय नजरिए से व्यवहारिक नहीं है।
सरकार ने इस रिपोर्ट को अस्वीकार कर दिया है और कहा है कि वह इस परियोजना को आगे बढ़ाना चाहती है। यह परियोजना राम सेतु (एडम्स ब्रिज) को काटती हुई गुजरेगी। प्रसाद ने कहा, ‘भाजपा और देश राम सेतु से किसी भी तरह की छेड़छाड़ को बर्दाश्त नहीं करेगा। राम सेतु को काटना ही इस परियोजना के लिए सरकार को एकमात्र विकल्प क्यों नजर आ रहा है। राम सेतु के बिना आप रामायण की कल्पना नहीं कर सकते हैं। इससे करोड़ों हिन्दुओं की आस्थाएं जुड़ी हैं।’
पौराणिक गाथाओं में राम सेतु वह पुल है जिसे पार करके भगवान राम और उनकी सेना ने सीता को मुक्त कराने के लिए रावण के साम्राज्य पर चढ़ाई की थी। सरकार की परियोजना के अनुसार प्रस्तावित सेतुसमुद्रम जहाजरानी चैनल 30 मीटर चौड़ा, 12 मीटर गहरा और 167 किलोमीटर लंबा होगा। यह कहे जाने पर कि इस परियोजना पर सरकार 800 करोड़ रुपए पहले ही खर्च कर चुकी है, भाजपा प्रवक्ता ने कहा कि सवाल यह नहीं है कि इतनी रकम खर्च की जा चुकी है, बल्कि उससे पहले सवाल यह है कि इतना धन खर्च क्यों किया गया?’ (एजेंसी)
First Published: Saturday, February 23, 2013, 17:23