Last Updated: Wednesday, September 18, 2013, 22:22
अहमदाबाद : गुजरात उच्च न्यायालय ने राज्य सरकार से उस प्रक्रिया के बारे में हलफनामा दायर करने के लिए कहा जिसके तहत वर्ष 2002 गोधरा कांड के बाद हुए दंगों से जुड़े खुफिया विभाग के दस्तावेजों को ‘गुप्त’ की श्रेणी में डाला गया।
मुख्य न्यायाधीश भास्कर भट्टाचार्य और न्यायमूर्ति जेबी पारडियाल की खंडपीठ ने सरकार से पूछा कि इस तरह का वर्गीकरण किस नियम या कानून के तहत किया गया, यह कब हुआ और यह किसने किया। अदालत ने राज्य सरकार से निलंबित आईपीएस अधिकारी संजीव भट्ट के आरोपों के अनुसार, कुछ खुफिया रिकार्ड की स्थिति पर विसंगतियों पर अपना रूख साफ करने के लिए कहा।
सरकार ने मंगलवार को उच्च न्यायालय के पिछले सप्ताह के निर्देश के अनुसार वर्ष 2002 दंगों के खुफिया रिकार्ड से संबंधित वास्तविक रजिस्टर पेश किया। अक्तूबर में, अदालत ने राज्य सरकार से भट्ट को कुछ खास दस्तावेज सौंपने के लिए कहा था ताकि उन्हें दंगों की जांच कर रहे नानावटी मेहता आयोग के सामने गवाही दे पाएं। (एजेंसी)
First Published: Wednesday, September 18, 2013, 22:22