Last Updated: Friday, February 3, 2012, 11:07
मुंबई : सर्वोच्च न्यायालय द्वारा साल 2008 में आवंटित सभी 122 स्पेक्ट्रम लाइसेंसों को रद्द करने को शिव सेना प्रमुख बाल ठाकरे ने सरकार के चेहरे पर करारा तमाचा करार दिया है। ठाकरे ने अपनी पार्टी के मुखपत्र सामना के संपादकीय में शुक्रवार को यह लिखा।
ठाकरे ने गवर्नमेंट अनमास्क्ड शीर्षक से लिखे संपादकीय में लिखा, ‘2जी स्पेक्ट्रम घोटाले पर सर्वोच्च न्यायालय का फैसला सरकार के चेहरे पर करारा तमाचा है। उन्होंने कहा कि इसके बाद सरकार को सत्ता में बने रहने का नैतिक अधिकार नहीं है।
उन्होंने कहा कि वैसे कांग्रेस से नैतिकता की उम्मीद करना वैसा ही है जैसे किसी दृष्टिहीन व्यक्ति से प्रकाश पर निबंध की उम्मीद करना। ठाकरे ने कहा कि पूर्व दूरसंचार मंत्री ए.राजा के कार्यकाल में आवंटित सभी 122 दूरसंचार लाइसेंसों को रद्द करने का अदालत का फैसला ऐतिहासिक है। उन्होंने जोर देकर कहा कि इतने बड़े घोटाले में राजा को अकेले ही जिम्मेदार नहीं ठहराया जा सकता। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री कार्यालय व वित्त मंत्रालय जिम्मेदारी से पीछे नहीं हट सकते। इस घोटाले के लिए वे भी बराबर से जबावदेह हैं।
ठाकरे ने कहा कि अदालत के फैसले से तत्कालीन केंद्रीय वित्त मंत्री और वर्तमान केंद्रीय गृह मंत्री पी. चिदंबरम को भले ही दो दिन की राहत मिल गई हो, लेकिन सरकार को यह समझना होगा कि वह उन्हें लंबे समय तक नहीं बचा सकेगी।
(एजेंसी)
First Published: Friday, February 3, 2012, 16:38