Last Updated: Sunday, December 22, 2013, 20:08

नई दिल्ली : जयंती नटराजन ने आज इन खबरों का खंडन किया कि उन्हें पर्यावरण मंत्री पद से इसलिए हटाया गया क्योंकि उन्हें परियोजनाओं को पर्यावरण संबंधी मंजूरी रोकी रखी थीं। उन्होंने कहा कि उन्होंने तो स्वयं ही इस्तीफा दिया।
राज्यसभा सदस्य ने कहा, परियोजनाएं नहीं रोकी गयीं। बिल्कुल ही नहीं। मैंने शत प्रतिशत पार्टी कार्य के लिए इस्तीफा दिया। कोई अन्य कारण नहीं है। प्रधानमंत्री ने मेरे काम की सराहना की है। अपने कार्यकाल के निर्णयों की प्रशंसा करते हुए उन्होंने पर्यावरण संबंधी मंजूरी मिलने में देरी की उद्योग जगत की शिकायतें खारिज कर दी लेकिन यह माना कि उत्तराखंड आपदा के आलोक में वह बांध और पनबिजली परियोजनाओं को लेकर शंकित हो गयी थीं।
नटराजन ने कहा कि वैध पर्यावरणीय चिंताएं हैं और ऐसी परियोजनाओं का बहुत ध्यानपूर्वक मूल्यांकन करने की जरूरत है। उन्होंने कहा, केवल आठ फीसदी परियोजनाएं ही पर्यावरण एवं वन मंत्रालय में आया। 92 फीसदी परियाजनाएं तो राज्यों द्वारा ही मंजूर की गयीं। कुछ मेरे पास नहीं आया। लंबित परियोजनाएं बिल्कुल नहीं हैं। नटराजन को दो साल पहले मंत्रालय में लाया गया था। राहुल गांधी ने कल फिक्की के एक कार्यक्रम में पर्यावरण संबंधी मंजूरी मिलने में देरी की उद्योग जगत की चिंता साझी की थी। (एजेंसी)
First Published: Sunday, December 22, 2013, 20:08