Last Updated: Sunday, November 24, 2013, 14:16
एजल : मिजोरम में कल होने वाले 40 सदस्यीय विधानसभा चुनाव में मुख्यमंत्री ललथनवाला और 11 मत्रियों सहित
कुल 142 उम्मदीवार किस्मत आजमा रहे हैं। देश में पहली बार राज्य के दस विधानसभा क्षेत्रों में मतदान करने की पर्ची (वीवीपीएटी) प्रणाली का बड़े स्तर पर उपयोग किया
जाएगा। इससे पहले नगालैंड में सितंबर महीने में हुए विधानसभा उपचुनाव में पहली बार इसका प्रयोग किया गया था। वीवीपीएटी ईवीएम से जुड़ी एक मशीन है, जिसके जरिए मतदाता यह जांच सकेंगे कि उनका मत उनकी इच्छानुसार पड़ा है या नहीं।
मिजोरम में सामान्य उम्मीदवारों के लिए दक्षिण लुंगलेई ही एकमात्र सीट है, इसके अलावा अन्य सभी सीटें अनुसूचित जाति के उम्मीदवारों के लिए आरक्षित हैं। मुख्यमंत्री ललथनवाला :कांग्रेस: अपने गृह प्रदेश सेरचिप और इससे सटे हरांगतुजरे सीट से चुनाव लड़ रहे हैं, वहीं विपक्षी एमएनएफ के नेता और पूर्व मुख्यमंत्री जोरमथंगा (एमएनएफ) म्यांमा सीमा से सटी पूर्वी तुइपुइ सीट से किस्मत आजमा रहे हैं।
वर्ष 2008 के विधानसभा चुनाव में 32 सीटें जीतने वाली कांग्रेस ने इस बार अपने 31 वर्तमान विधायकों पर एक बार फिर से भरोसा जताया है। पार्टी ने केवल निरपम चकमा का टिकट काट कर उनकी जगह चकमा स्वायत्त जिला परिषद के मुख्य कार्यकारी सदस्य बीडी चकमा को चुनावी समर में खड़ा किया है।
राज्य में छह महिला उम्मीदवार भी खड़ी हुई हैं, जिनमें से भाजपा ने तीन उम्मीदवारों और कांग्रेस एवं एमएनएफ ने एक-एक महिला उम्मदीवारों का टिकट दिया है। इसके अलावा एमएनएफ की एक बागी उम्मीदवार भी अपना भाग्य आजमा रही है।
राज्य में स्वतंत्र एवं निष्पक्ष चुनाव सुनिश्चित करने के लिए राज्य पुलिस की सात सशस्त्र बटालियन के अलावा पड़ोसी राज्य से पुलिस एवं केंद्रीय अर्धसैनिक बलों की 31 अतिरिक्त कंपनियां तैनात की गई हैं। पड़ोसी राज्यों से उग्रवादियों के प्रवेश की आशंका को देखते हुए ममित जिले में मिजोरम, त्रिपुरा और बांग्लादेश के बीच 64 किलोमीटर की खुली सीमा के अलावा राज्य के सीमाई क्षेत्रों में सुरक्षा बलों को तैनात कर दिया गया है। (एजेंसी)
First Published: Sunday, November 24, 2013, 14:16