Last Updated: Tuesday, July 10, 2012, 20:47
काहिरा : मिस्र की भंग संसद ने आज संवैधानिक अदालत और सेना को सीधी चुनौती देते हुए बैठक की जिससे देश में सत्ता के लिए संघर्ष की तनावपूर्ण स्थिति पैदा हो गई है।
संवैधानिक अदालत द्वारा भंग किए जाने के बाद पहली बार संसद की यह बैठक हुई जिसमें अध्यक्ष ने चेतावनी संकेतों को भेजने से परहेज किया और कहा कि संसद न्यायपालिका से टकराव की कोशिश नहीं कर रही।
अदालत के आदेश को राष्ट्रपति के आदेश द्वारा पलटे जाने के बाद संवैधानिक अदालत और सैन्य परिषद की चेतावनियों के बावजूद सांसद सत्र के लिए एकत्र हुए।
कई उदारवादी और वामपंथी राजनीतिक दलों के सांसदों ने सत्र का बहिष्कार किया। उनमें से कुछ ने राष्ट्रपति मोहम्मद मुर्सी के कदम को ‘संवैधानिक तख्तापलट’ करार दिया। (एजेंसी)
First Published: Tuesday, July 10, 2012, 20:47