यूपी विभाजन प्रस्ताव को केंद्र ने लौटाया - Zee News हिंदी

यूपी विभाजन प्रस्ताव को केंद्र ने लौटाया




नई दिल्ली : केंद्र सरकार ने उत्तर प्रदेश विधानसभा में पारित राज्य के चार भागों में विभाजन के प्रस्ताव को प्रदेश सरकार को लौटाते हुए उससे इसमें प्रस्तावित राजधानियों, सीमाओं और बढ़ते कर्ज के बोझ जैसे मुद्दों पर स्पष्टीकरण मांगे हैं।

 

केंद्रीय गृह सचिव आरके सिंह ने यहां संवाददाताओं से कहा कि हमने उत्तर प्रदेश के राज्य के विभाजन के प्रस्ताव को वापस भेज दिया है और आठ से नौ प्रश्नों पर जवाब मांगे हैं।

 

गृह मंत्रालय के अधिकारियों ने कहा कि मंत्रालय ने उत्तर प्रदेश को प्रस्ताव वापस करते हुए कहा है कि उसे प्रदेश विधानसभा द्वारा पारित प्रस्ताव पर कार्रवाई से पहले कई प्रमुख मुद्दों पर स्पष्टीकरण की जरूरत है। उत्तर प्रदेश विधानसभा में नवंबर में मुख्यमंत्री मायावती ने विपक्ष को अचरज में डालते हुए राज्य को अवध प्रदेश, पूर्वांचल, बुंदेलखंड और पश्चिम प्रदेश में विभाजिन करने संबंधी प्रस्ताव रखा था।

 

मायावती के विरोधियों ने इसे प्रदेश में अगले साल विधानसभा चुनावों के मद्देनजर चली गयी राजनीतिक चाल करार दिया था। अधिकारियों के अनुसार गृह मंत्रालय ने उत्तर प्रदेश सरकार से ये स्पष्ट करने को कहा है कि प्रस्तावित चारों राज्यों की राजधानियां कहां होंगी, उनकी सीमाएं कहां होंगी।

 

वहीं, कांग्रेस ने आज कहा कि केंद्र सरकार की ओर से उत्तर प्रदेश को चार राज्यों में बांटने के संदर्भ में पारित प्रस्ताव को लौटाए जाने में कुछ भी गलत नहीं है। पार्टी के प्रवक्ता अभिषेक मनु सिंघवी ने संवाददाताओं से कहा कि बसपा सरकार से केंद्र द्वारा अनके मुद्दों पर स्पष्टीकरण मांगा जाना स्वाभाविक है क्योंकि कदम सभी दलों कोई चर्चा किए बिना तथा राज्य पुनर्गठन आयोग की किसी सिफारिश के बगैर उठाया गया। उत्तर प्रदेश सरकार की ओर से पारित प्रस्ताव को लौटाते हुए केंद्रीय गृह मंत्रालय ने कहा कि उसे कई मुद्दों पर स्पष्टीकरण की जरूरत है।

 

विधानसभा की ओर से पारित प्रस्ताव में अवध प्रदेश, पूर्वांचल, बुंदेलखंड और पश्चिम प्रदेश के तौर पर चार नए राज्य गठित किए जाने की बात कही गई थी ।

(एजेंसी)

First Published: Tuesday, December 20, 2011, 11:51

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