Last Updated: Sunday, August 4, 2013, 17:48
ज़ी मीडिया ब्यूरोलखनऊ : आईएएस अधिकारी दुर्गा शक्ति नागपाल के निलंबन पर कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी द्वारा पीएम मनमोहन सिंह को लिखी गई चिट्ठी समाजवादी पार्टी (सपा) को काफी नागवार गुजरी है। सपा संसद के मानसून सत्र में खाद्य सुरक्षा विधेयक के मौजूदा स्वरूप का समर्थन करने से इंकार कर सकती है। रविवार को रिपोर्टों में सपा के इस रुख का संकेत मिला।
एक रिपोर्ट के मुताबिक सपा नेता नरेश अग्रवाल ने हालांकि कहा कि खाद्य विधेयक को समर्थन देने अथवा न देने का संबंध सोनिया गांधी द्वारा लिखे गए पत्र से नहीं है।
ज्ञात हो कि सोनिया ने दुर्गा शक्ति के निलंबन पर दुख जताते हुए पीएम को पत्र लिखा है और उनसे मामले में दखल देने को कहा है। उधर, सपा सरकार के महात्वांकाक्षी विधेयक खाद्य विधेयक को पहले ही किसान विरोधी बता चुकी है। पार्टी ने कहा है कि विधेयक के पारित हो जान से किसानों को उनका वाजिब हक नहीं मिलेगा।
पत्र पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए सपा ने कहा कि सोनिया गांधी को दो और पत्र लिखने चाहिए। एक हरियाणा के आईएएस अधिकारी अशोक खेमका के बारे में जिन्हें मुख्यमंत्री ने निलंबित किया था और दूसरा राजस्थान के मुख्यमंत्री को दो आईएएस अधिकारियों को निलंबित करने के लिए। दोनों मामलों में, राबर्ट वाड्रा का नाम आया था। ये मामले भूमि सौदों के बारे में थे। इसलिए उन्हें प्रधानमंत्री को दो पत्र लिखने चाहिए ताकि इन सभी मामलों में न्याय किया जा सके।
2010 बैच की भारतीय प्रशासनिक सेवा की अधिकारी 28 वर्षीय नागपाल को गौतम बुद्ध नगर के एसडीएम के पद से 27 जुलाई को एक मस्जिद की दीवार गिराने का कथित रूप से आदेश देने के लिए इस आधार पर निलंबित कर दिया गया था कि इससे सांप्रदायिक तनाव भड़क सकता था।
First Published: Sunday, August 4, 2013, 17:48