कर्नाटक बीजेपी में घमासान, गौड़ा ने रखी नई मांगें

कर्नाटक बीजेपी में घमासान, गौड़ा ने रखी नई मांगें

कर्नाटक बीजेपी में घमासान, गौड़ा ने रखी नई मांगेंबेंगलुरु: कर्नाटक में सत्तारूढ़ भाजपा के सामने मंगलवार को नया संकट खड़ा हो गया जब निवर्तमान मुख्यमंत्री डीवी सदानंद गौड़ा ने बीएस येदियुरप्पा के खिलाफ जवाबी कदम उठाते हुए अंतिम समय में कई मांगें रख दीं जिससे विधायक दल की बैठक को टालना पड़ा। जगदीश शेट्टार को मुख्‍यमंत्री बनाए जाने से पहले सदानंद गौड़ी ने पार्टी के समक्ष तीन मांगें रख दी हैं।

गौड़ा खेमा इस नेता के लिए पार्टी राज्य इकाई का अध्यक्ष पद, केएस ईश्वरप्पा के लिए उपमुख्यमंत्री पद, खेमे के सदस्यों को आधे मंत्री पद और बैठक से पहले इन मांगों को स्वीकार करने की बात पर अड़ा है। इस बात से संकेत मिलते हैं कि नेतृत्व परिवर्तन आसान नहीं होगा।

‘सामाजिक न्याय’ का हवाला देते हुए गौड़ा खेमा (सदानंद गौडा और के ईश्वरप्पा के) वोक्कालिगा समुदाय को प्रमुख प्रतिनिधित्व देने की मांग कर रहा है। अगले मुख्यमंत्री बनने की राह पर बढ़ रहे जगदीश शेट्टार लिंगायत समुदाय से हैं।

वोक्कालिगा समुदाय का एक धड़ा सदानंद गौड़ा के खुले समर्थन में आ गया है। ईश्वरप्पा, बालचंद्र जरकीहोली और एस सुरेश कुमार सहित गौड़ा के सभी वफादार मंत्रियों और विधायकों ने अपनी शक्ति दिखाते हुए सदानंद गौड़ा के आवास पर मुलाकात की और विधायक दल की बैठक में शामिल होने के कोई संकेत नहीं दिए।

कर्नाटक में शांतिपूर्ण सत्ता परिवर्तन के भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के प्रयासों को करारा झटका लगा जब गौड़ा के समर्थकों ने उन्हें जगदीश शेट्टार के लिए यह पद रिक्त करने से पहले पार्टी का प्रदेश बनाने की घोषणा किए जाने मांग की। इसी कारण शेट्टार को विधायक दल का नेता चुनने के लिए होनी वाली बैठक में देरी हो रही है। गौड़ा समर्थकों की यह भी मांग है कि शेट्टार को विधायक दल का नेता चुनने के लिए होने वाली बैठक से पहले पार्टी प्रदेश के मौजूदा अध्यक्ष के. एस. ईश्वरप्पा का नाम उप मुख्यमंत्री के रूप में भी घोषित करे।

इस बीच, सूत्रों के अनुसार परिवहन और गृह मंत्री आर. अशोक भी परदे के पीछे से उप मुख्‍यमंत्री बनने के लिए जोर-आजमाइश में जुट गए हैं। रिपोर्ट के अनुसार, गौड़ा को राज्‍यसभा सीट का आश्‍वासन दिया गया लेकिन उन्‍होंने इसे खारिज कर दिया।

गौर करने वाली बात यह है कि गौड़ा ने यह कदम तब उठाया, जब एक दिन पहले वोक्‍कालिगा समुदाय के सैकड़ों सदस्‍यों ने गौड़ा को सीएम पद से हटाए जाने का विरोध किया था। इस समुदाय से जुड़े सदस्‍यों में नीति निर्माता और कैडर से जुड़े लोग शामिल हैं।

गौड़ा समर्थक 45 विधायकों की इस जिद के कारण राज्य की 225 सदस्यीय विधानसभा के 120 विधायकों की बैठक में देरी हो रही है। बैठक पूर्वाह्न् 11 बजे से ही यहां एक होटल में शुरू होनी थी, लेकिन यह अब तक शुरू नहीं हो पाई है।

शेट्टार के समर्थक, जिन्हें भाजपा के राज्य में पहले मुख्यमंत्री बी. एस. येदियुरप्पा का समर्थन प्राप्त है, होटल पहुंच चुके हैं, लेकिन गौड़ा और उनके समर्थक अब भी अपने आधिकारिक आवास पर हैं। वे पार्टी के केंद्रीय पर्यपेक्षक अरुण जेटली और राजनाथ सिंह द्वारा अपनी मांगों को स्वीकार करने का इंतजार कर रहे हैं।

गौड़ा समर्थकों ने कहा कि उनकी मांग विभिन्न जाति समूहों के लिए सामाजिक न्याय तथा पार्टी व सरकार में समान प्रतिनिधित्व सुनिश्चित करने के लिए है।

नाम न जाहिर करने की शर्त पर उन्होंने कहा कि लोगों में इस तरह की धारणा व्याप्त हो गई है कि भाजपा लिंगायत जाति के सामने झुक गई है, जिसका प्रतिनिधित्व येदियुरप्पा और शेट्टार दोनों करते हैं। लोगों को लगता है कि इनके दबाव में आकर ही पार्टी ने गौड़ा को मुख्यमंत्री पद से हटाया है, जो एक अन्य जाति वोक्कालिगा से ताल्लुक रखते हैं।

First Published: Tuesday, July 10, 2012, 15:33

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