Last Updated: Sunday, February 26, 2012, 18:04

दमिश्क : सीरिया की सरकार ने रविवार को लोगों के समक्ष नए संविधान का मसौदा रखा और लोगों से इस पर राय बताने के लिए कहा। अमेरिका ने इस कदम को हास्यास्पद करार दिया है। नए संविधान के मसौदे में सता पर बाथ पार्टी के पकड़ को कमजोर किया गया है, लेकिन अब भी राष्ट्रपति बशर अल असद के हाथों में काफी ताकत दी गई है। विपक्ष का कहना है कि संविधान में ये बदलाव बनावटी हैं और अब सिर्फ असद के सत्ता से हटने के बाद ही समस्या का समाधान निकल सकता है।
सीरिया में बीते 11 महीनों से हिंसा का दौर चल रहा है। मानवाधिकार संगठनों का कहना है कि अब तक 7,600 से अधिक लोग मारे गए हैं। ब्रिटेन स्थित निगरानी संस्था ‘सीरियन ऑब्जरवेटरी फॉर ह्यूमन राइट्स’ के मुताबिक, असद की सत्ता के खिलाफ मार्च में विरोध प्रदर्शन शुरू होने के बाद अब तक 7600 से अधिक लोग मारे जा चुके हैं।
इस माह के शुरू में राष्ट्रपति बशर अल असद ने सुधारों के अपने आग्रह के तहत एक नया राष्ट्रीय घोषणापत्र पेश किया। बहरहाल, जनमत संग्रह असद सरकार पर वैश्विक दबाव कम करने में नाकाम रहा है। एक ओर जहां विपक्षी बलों ने इसका बहिष्कार किया है वहीं अमेरिका ने इसे ‘हास्यास्पद’ बताया है।
जनमत संग्रह स्थानीय समयानुसार सुबह सात बजे शुरू हुआ और 12 घंटे चलेगा। देश के 13,835 मतदान केंद्रों पर 18 साल से अधिक उम्र के 1.4 करोड़ से अधिक लोग जनमत संग्रह की प्रक्रिया में भाग लेते हुए मतदान कर सकेंगे। संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद का वाषिर्क सत्र सोमवार को शुरू हो रहा है जिसमें सीरिया के कट्टरपंथी प्रशासन पर और ज्यादा दबाव बनाया जाएगा।
एक राजनयिक ने कहा, हम चाहते हैं कि सीरियाई प्रशासन खंडन करना बंद करे । उन्होंने कहा कि मानवाधिकार परिषद को निश्चित रूप से सीरियाई प्रशासन पर दबाव बनाये रखना चाहिये। इस वाषिर्क बैठक में ईरान, लीबिया, श्रीलंका, म्यामां और उत्तर कोरिया के ताजा घटनाक्रम पर विचार किया जायेगा। (एजेंसी)
First Published: Sunday, February 26, 2012, 23:34