Last Updated: Monday, November 18, 2013, 14:18

अहमदाबाद : प्रवचनकर्ता आसाराम और उनके बेटे नारायण साईं के खिलाफ सूरत स्थित दो बहनों द्वारा दर्ज कराई गई यौन शोषण की प्राथमिकी रद्द करने को लेकर दायर याचिका वापस लिए जाने के साथ ही गुजरात उच्चालय ने इसे रद्द कर दिया।
अदालत ने इस मामले में पिछले महीने आसाराम और साईं के वकीलों एवं अभियोजन पक्ष की दलीलें सुनने के बाद पिता पुत्र की ओर से दायर याचिकाओं पर अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था।
इन दोनों आरोपियों के वकीलों ने यह याचिका वापस ले ली, जिसके बाद न्यायाधीश ए जे देसाई ने आज इसे रद्द कर दिया। अदालत ने अपने आदेश में आगे कहा कि दोनों आरोपियों को मामले की जांच पूरी हो जाने के बाद फिर से याचिका दायर करने की आजादी दी गई है।
इससे पहले आसाराम और साईं ने उच्च न्यायालय में याचिका दायर कर सूरत स्थित दो बहनों की ओर से उनके खिलाफ दायर प्राथमिकी रद्द करने का अनुरोध किया था। इन दोनों बहनों का आरोप हैं कि वर्ष 1997 से 2006 के बीच जब ये दोनों आसाराम और उनके बेटे के सूरत एवं अहमदाबाद स्थित आश्रम में रह रही थीं, तब बाप बेटे की इस जोड़ी ने कई बार उनका यौन शोषण किया। (एजेंसी)
First Published: Monday, November 18, 2013, 14:18