मुंबई : महाराष्ट्र की उत्तर मुंबई लोकसभा सीट पर 24 अप्रैल को मतदान होगा और यहां कांग्रेस के वर्तमान सासंद संजय निरूपम को भाजपा के गोपाल शेट्टी से कड़ी चुनौती मिल रही है।
निरूपम ने वर्ष 2009 के लोकसभा चुनाव में 5,000 से कुछ अधिक मतों से जीत दर्ज की थी। इस बार उनका मुकाबला शेट्टी, आईआईएम के स्नातक सतीश जैन (आप) तथा सपा के कमलेश यादव से है। महाराष्ट्र में लोकसभा चुनाव के तीसरे चरण के तहत 24 अप्रैल को मतदान होगा।
निरूपम को विश्वास है कि उनकी सीट बरकरार रहेगी। उन्होंने कहा कि वह पिछले पांच साल से मतदाताओं तथा पार्टी के जमीनी कार्यकर्ताओं के साथ संपर्क बनाए हुए हैं। उन्होंने दावा किया ‘मैंने मलाड में एक आरटीओ कार्यालय तथा डीडीआर (जिला उप पंजीयक) कार्यालय हासिल किया है। मेरे प्रयासों के कारण ही दूसरे मेट्रो मार्ग का विस्तार चरकोप से दहिसर तक किया गया।’
निरूपम ने कहा, ‘अस्पताल और आदर्श स्टेशनों आदि के जरिये मैंने अपने निर्वाचन क्षेत्र के विकास के लिए बहुत काम किया है। अगर मैं चुनाव जीत जाता हूं तो मेरी योजना स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स, मेडिकल कॉलेज और ऑडिटोरियम की लंबित परियोजनाओं को पूरा करने की है।’
उत्तर मुंबई में 21 प्रत्याशी चुनाव मैदान में हैं। गुजरातियों और उत्तर भारतीयों की बहुलता वाली इस सीट में दहिसर, बोरीवली, कांदीवली (ईस्ट), चरकोप तथा मलाड (पश्चिम) आते हैं। वर्ष 2009 के चुनाव में कांग्रेस विरोधी वोट भाजपा और मनसे के बीच बंट गए थे जिससे निरूपम को फायदा हुआ था। निरूपम को 3,55,157 वोट, भाजपा प्रत्याशी तथा पूर्व केंद्रीय मंत्री राम नाइक को 2,49,378 वोट तथा मनसे प्रत्याशी शिरीष पार्कर को 1,47,502 वोट मिले थे।
आप प्रत्याशी सतीश जैन क्षेत्र के विकास के लिए ‘टेक्स्ट बुक मैनेजमेंट’ के सिद्धांतों को लागू करने पर जोर देते हैं। बेंगलूर स्थित इंडियन इन्स्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट के स्नातकोत्तर जैन ने 18 साल तक मोर्गन स्टेनली तथा एचडीएफसी सहित वित्तीय क्षेत्र की कई कंपनियों के लिए काम किया है। शेट्टी का कहना है कि उत्तर मुंबई में उन्होंने कई विकास कार्य किए हैं और अब वह उन पर ही ध्यान दे रहे हैं।
उन्होंने आरोप लगाया, ‘निरूपम ने क्षेत्र के लिए कुछ नहीं किया और स्थानीय प्रशासन द्वारा सड़क निर्माण करने तथा शौचालय आदि बनाने के कार्यों का श्रेय वह स्वयं लेते हैं।’ भाजपा विधायक योगेश सागर शेट्टी के लिए प्रचार कर रहे हैं। वह कहते हैं कि निरूपम को संसद में, क्षेत्र में हुए रेल हादसों का मुद्दा उठाना चाहिए था। (एजेंसी)
First Published: Saturday, April 19, 2014, 14:22