महिला वैज्ञानिकों ने बनाया ‘सुपरपावर’

Last Updated: Friday, April 27, 2012, 17:42

अग्नि-5 मिसाइल और रीसैट-1 की सफलता से दुनिया भर में भारत की साख और धमक बढ़ी है। इन दोनों महत्‍वपूर्ण उपलब्धि के पीछे महिला वैज्ञानिकों का हाथ है, जिनकी बदौलत आज भारत ‘सुपरपावर’ बनकर दुनिया की विशिष्‍ट देशों की श्रेणी में आ खड़ा हुआ है।

अक्षय तृतीया के शुभ होने के मायने

Last Updated: Monday, April 23, 2012, 07:31

भारतीय काल गणना के मुताबिक चार स्वयंसिद्ध अभिजित मुहूर्त माने गए है - चैत्र शुक्ल प्रतिपदा (गुडी पडवा), आखातीज यानी अक्षय तृतीया, दशहरा और दीपावली के पूर्व की प्रदोष तिथि।

'उत्तराखंड की जनता को धोखा नहीं देंगे'

Last Updated: Saturday, April 21, 2012, 07:02

राज्य की चुनौतियों और सरकार की रणनीतियों सहित कई मुद्दों पर उत्तरखंड के मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा से खास बात की, ज़ी न्यूज़ उत्तर प्रदेश के संपादक वासिन्द्र मिश्र ने अपने खास कार्यक्रम सियासत की बात में। पेश हैं इसके प्रमुख अंश-

'सरकार की रेटिंग तो जनता तय करेगी'

Last Updated: Thursday, April 19, 2012, 17:49

देश की राजनीति में जारी सियासी गहमागहमी के बीच राष्ट्रपति चुनाव के साथ साथ 2014 लोकसभा चुनाव के बारे में सीपीएम नेता बृंदा करात से खास बात की है ज़ी न्यूज़ उत्तर प्रदेश के संपादक वासिन्द्र मिश्र ने अपने खास कार्यक्रम सियासत की बात में। पेश हैं इसके प्रमुख अंश-

दाग अच्छे हैं तो मोदी खराब कैसे?

Last Updated: Thursday, March 21, 2013, 18:08

भारतीय राजनीति में अगर किसी एक शख्स को लेकर इस समय सबसे अधिक चर्चा हो रही है तो वो हैं गुजरात के मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी। देश की मुख्य विपक्षी पार्टी भाजपा नरेंद्र मोदी को देश के अगले प्रधानमंत्री के रूप में पेश करने जा रही है। यह लगभग तय हो चुका है।

बेटे की ही चाहत क्यों

Last Updated: Sunday, April 15, 2012, 17:55

कभी आफरीन तो कभी फलक, इस तरह बेटियों पर किसी न किसी रूप में कहर बरपाया जाता है यानि बेटियों को बेटों की तुलना में कम तहजीह देना या भार समझने की मानसिकता सदियों पुरानी है जो अबतक चली आ रही है। आखिर क्यों लोगों को बेटे की चाहत बेटी से ज्यादा है।

सूरज सी हैं तेज बेटियां

Last Updated: Thursday, April 12, 2012, 12:15

2011 की जनगणना के अनुसार हमारे देश में शून्य से छह साल की उम्र में एक हजार लड़कों के पीछे लड़कियों की संख्या महज 914 हो गयी है। यानि कि लड़के लड़कियों की संख्या में भी अन्तर बढ़ रहा है। यहां सवाल यह उठता है कि यह अन्तर कम कैसे किया जाय? लोगों की मानसिकता कैसे बदली जाय? लड़कियों को उनका हक कैसे दिलवाया जाय? समाज की सोच कैसे बदली जाय?

विद्या की अदा पर सब फिदा

Last Updated: Tuesday, April 10, 2012, 07:44

आलोचक भले यह कहें कि विद्या ने डर्टी पिक्चर से बोल्डनेस को बढ़ावा दिया है पर सच तो यह है कि विद्या ने अदा के साथ-साथ कला को भी अपनाया है। अगर यह सच नहीं है तो तमाम बी ग्रेड की फिल्में धमाल मचा रही होती और उन्हें भी राष्ट्रीय पुरस्कार से नवाजा जाता।

शर्मिंदगी की इंतहा

Last Updated: Monday, April 9, 2012, 08:49

ऐसी खबरे पढने के बाद दुख होता है और मन ही मन आप कहते होंगे ऐसा नहीं होना चाहिए था, यह शर्मनाक है।