जेटली की हो गई बल्ले-बल्ले!

जेटली की हो गई बल्ले-बल्ले!

ज़रा सोचिए, नरेंद्र मोदी अगर देश के अगले प्रधानमंत्री होते हैं तो मोदी सरकार (टीम मोदी) में संसद के उच्च सदन में नेता प्रतिपक्ष अरुण जेटली की हैसियत क्या होगी? माना जा रहा है कि चुनाव परिणाम अगर भाजपा के पक्ष में रहा और केंद्र में एनडीए की सत्ता आई तो भाजपा के वरिष्ठ नेता अरुण जेटली को महत्वपूर्ण पद दिए जा सकते हैं। इस बात के स्पष्ट संकेत देते हुए नरेंद्र मोदी ने अमृतसर में एक चुनावी जनसभा में कह भी दिया कि वरिष्ठ भाजपा नेता न सिर्फ केंद्र, बल्कि पंजाब में अकाली दल नीत सरकार की भी एक संपत्ति होंगे।

मोदी ने कहा, ‘अरुण जेटली दिल्ली में हमारी सरकार के लिए काफी मददगार साबित होंगे। यदि वह (जेटली) जीतकर आते हैं तो इससे बादल सरकार को मदद मिलेगी।’ मोदी ने लोगों से यह भी कहा कि वे जेटली से काफी कुछ उम्मीद कर सकते हैं। अगर आपको याद हो तो पंजाब के मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल ने भी एक चुनावी जनसभा में कहा था कि अमृतसर के लोग अरुण जेटली के रूप में संभावित उप-प्रधानमंत्री को वोट देंगे। अटारी में 22 मार्च को एक जनसभा में बादल ने अमृतसर से भाजपा उम्मीदवार अरुण जेटली को भावी डिप्टी पीएम पद का उम्मीदवार बताया।

दरअसल भाजपा में जब बात टीम मोदी की होती है तो निश्चित रूप से अरुण जेटली का नाम इसमें सबसे ऊपर होता है। इसके पीछे कई वजहें हैं। एक तो अरुण जेटली काफी सुलझे व्यक्तित्व के अनुभवी नेता हैं। भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता हैं और वर्तमान राज्य सभा में नेता प्रतिपक्ष भी। एनडीए के शासन में केंद्रीय न्याय मन्त्री के साथ-साथ कई बड़े पद पर आसीन रहे। कहने का मतलब सरकार चलाने का जेटली को ठीक-ठाक अनुभव है।

दूसरा, पार्टी की आंतरिक कलह के बीच सत्ता संतुलन को बनाने में जेटली को महारत हासिल है। पार्टी के अंदर एक अविवादित नेता के छवि के रूप में जेटली सभी के पसंदीदा नेता हैं चाहे वो आडवाणी हो, राजनाथ हों या फिर नरेंद्र मोदी। राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ में भी अरुण जेटली की शख्सियत काफी मायने रखती है। कहा तो यहां तक जाता है कि भाजपा के प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार नरेंद्र मोदी दिल्ली में अगर सबसे ज्यादा किसी पर भरोसा करते हैं तो वह अरुण जेटली ही हैं। अरुण जेटली एक ऐसे नेता हैं जिनकी जेडीयू नेता और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से भी अच्छे संबंध हैं। पंजाबी बिरादरी के होने की वजह से उनकी पैठ शिरोमणि अकाली दल में भी अच्छी है और यही वजह है कि प्रकाश सिंह बादल ने अभी से अरुण जेटली को डिप्टी पीएम बनाने की कवायद शुरू कर दी है।

जाहिर है, अगर नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में अगर राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन की सरकार दिल्ली में बनती है तो निश्चित रूप से अरुण जेटली मोदी के बाद सबसे अहम पद पर काबिज होंगे। अहम पद में डिप्टी पीएम, वित्त मंत्री, गृह मंत्री इन तीन में से कोई भी हो सकता है। और इसके लिए करना होगा 16 मई तक का इंतजार...।

(The views expressed by the author are personal)

comments powered by Disqus